शाह सतनाम जी स्पेशलिटी अस्पताल में चला वैक्सीनेशन अभियान

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कोरोना से लड़ने में शाह सतनाम जी स्पेशलिटी अस्पताल ने निभाई अहम भूमिका : डॉ. बालेश | Covid 19

  • 51 को लगाई वैक्सीन

सरसा (सच कहूँ/सुनील वर्मा)। मंगलवार को कोरोना वैक्सीनेशन के लिए जिलाभर में बड़ा अभियान चलाया गया। जिसमें 10 सरकारी अस्पतालों के साथ साथ 3 निजी अस्पतालों में भी स्टॉफ को वैक्सीन की डोज दी गई। इसी कड़ी में सिरसा के सबसे बड़े और अत्याधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित शाह सतनाम जी स्पेशलिटी अस्पताल में विशेष शिविर का आयोजन किया गया। जिसमें अस्पताल के स्टॉफ को वैक्सीन लगाई गई। अस्पताल में पहली वैक्सीन अस्पताल के हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ. अशोक बिश्नोई को पहली वैक्सीन लगाई गई। वैक्सीनेशन की शुरूआत के अवसर पर जिला प्रतिरक्षण अधिकारी डॉ. बालेश बांसल विशेष तौर से पहुंचे। (Covid 19)

शाह सतनाम जी स्पेशलिटी अस्पताल में वैक्सीनेशन अभियान दड़बा कलां पीएचसी से डॉ. अवतार सिंह की देखरेख में चलाया गया। जहां कांता देवी व जगरूप सिंह ने वैक्सीनेटर व अजय कुमार, धिनेन्द्र, राम सिंह, पुलिस विभाग से लक्ष्मण सिंह ने वैक्सीनेटर आॅफिसर की भूमिका निभाई। मंगलवार को शाह सतनाम जी स्पेशलिटी अस्पताल में 51 लोगों को वैक्सीन लगाई गई। इस दौरान मीडिया कर्मियों से बातचीत करते हुए जिला प्रतिरक्षण अधिकारी डॉ. बालेश बांसल ने कहा कि शाह सतनाम जी स्पेशलिटी अस्पताल ने कोरोना महामारी से लड़ने में स्वास्थ्य विभाग का कंधे से कंधा मिलाकर साथ दिया है और कोरोना से लड़ने में अहम भूमिका निभाई है। (Covid 19)

अस्पताल में 827 कोरोना मरीज हुए दाखिल : डॉ. गौरव अग्रवाल | Covid 19

शाह सतनाम जी स्पेशलिटी अस्पताल डॉ. गौरव अग्रवाल ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग की ओर से शाह सतनाम जी स्पेशलिटी अस्पताल को कोविड अस्पताल बनाया गया था। उनके अस्पताल में 827 कोरोना मरीज दाखिल हुए थे। जिनमें से 406 मरीज बिना आॅक्सीजन वाले थे। इनमें से 397 मरीज ठीक हुए। जबकि 9 मरीज अपनी मर्जी से अन्य अस्पतालों में रैफर हुए। 377 आॅक्सीजन वाले कोरोना मरीज यहां दाखिल हुए। (Covid 19)

इनमें 285 मरीज स्वस्थ होकर घर लौटे। जबकि 91 मरीज अन्य अस्पतालों में रैफर हुए। इसके अलावा 44 मरीज वेंटिलेटर वाले दाखिल हुए। जिनमें से 24 रैफर हुए और 10 ठीक होकर घर लौटे। इस प्रकार अस्पताल में दाखिल हुए 827 मरीजों में से 693 मरीज ठीक हुए और 125 मरीज अपनी इच्छा से अन्य अस्पतालों में रैफर होकर गए।