Haryana Metro News: गुरुग्राम (संजय मेहरा)। ओल्ड गुरुग्राम मेट्रो के निर्माण कार्य को लेकर गुरुग्राम मेट्रो रेल लिमिटेड ने तैयारियां शुरू कर दी हैं, मेट्रों का निर्माण दो हिस्सों में करने की योजना बनाई गई हैं, अगले छह महीने के अंदर निर्माण कार्य शुरू होने की उम्मीद भी हैं। वहीं आपको बता दें कि ओल्ड गुरुग्राम मेट्रो का निर्माण अगल 6 महीने के अंदर शुरू होने की उम्मीद हैं, इसके तहत गुरुग्राम मेट्रो रेल लिमिटेड ने तैयारी शुरू कर दी हैं, मेट्रो का निर्माण दो हिस्सों में करने की योजना बनाई गई हैं, पहले हिस्से में मिलेनियम सिटी सेंटर मेट्रो स्टेशन से सेक्टर-नौ और सेक्टर-101 तक मेट्रो तैयार की जाएगी, दूसरे हिस्से में सेक्टर-नौ से लेकर साइबर सिटी तक मेट्रो का निर्माण होगा, फरवरी माह तक इन दोनों हिस्सों के तहत टेंडर आमंत्रित करने की योजना हैं, इस योजना को मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी की अध्यक्षता में 24 दिसंबर को होने वाली बैठक में रखा जाएगा।
5452 करोड़ की आ सकती है लागत | Haryana Metro News
जीएमडीए की योजना के अनुसार अगले 4 साल के अंदर इस रूट पर मेट्रो का संचालन शुरू कर दिया जाएगा, मिलेनियम सिटी सेंटर मेट्रो स्टेशन से लेकर ओल्ड ग्ररुग्राम होते हुए डीएलएफ साइबर सिटी मेट्रो स्टेशन तक मेट्रो संचालन के लिए केंद्र और प्रदेश सरकार से मंजूरी मिल चुकी हैं, 28.5 किलोमीटर लंबे इस मेट्रो कॉरीडोर के निर्माण पर 5452 करोड रुपये का खर्चा आएगा, जिसके तहत 27 स्टेशन का निर्माण किया जाएगा।
8 कंपनियों ने किए है आवेदन
जीएमआरएल ने मेट्रो संचालन के मेट्रो स्टेशन का डिजाइन तैयार करने के लिए फ्रांस की एक कंपनी सिस्टा को 14 अक्टूबर को काम आवंटित कर दिया हैं, जिसने आपना काम शुरू कर दिया हैं, पिछले 10 दिसंबर को सामान्य सलाहकार नियुक्त करने के तहत टेंडर खोले गए थे, इसमें 8 कंपनियों की तरफ से आवेदन किए हैं।
सलाहकार की होगी नियुक्ति | Haryana Metro News
वहीं इस माह के अंत तक किसी एक कंपनी को इस योजना के तहत टेंडर आवंटित कर दिया जाएगा, मेट्रो संचालन के दौरान चल रहे कार्यों की जांच को लेकर एक सलाहकार नियुक्त किया जाएगा, जिसके तहत टेंडर आमंत्रित करने की प्रक्रिया को शुरू किया जा चुका हैं, दिसंबर माह के अंत तक इस टेंडर को आमंत्रित कर दिया जाएगा।
जल्द जारी किया जाएगा टेंडर
वही जीएमआरएल की योजना के तहत फरवरी माह के अंतिम हफ्ते तक मेट्रो कॉरीडोर और स्टेशन के निर्माण के लिए टेंडर आमंत्रित कर दिया जाएगा, 3 से 4 महीने के अंदर किसी एक कंपनी को टेंडर आवंटित कर दिया जाएगा, इसके बाद मेट्रो निर्माण का काम धरातल पर शुरू हो जाएगा।
अड़चनों को सुलझाएगी कमेटी
वहीं मेट्रो संचालन में आ री अड़चनों को दूर करने के लिए 10 सदस्यीय एक कमेटी का गठन किया हैं। जमीन से जुड़ी दिक्कत, पानी, सीवर, सड़क और बरसाती नाले के अलावा बिजली केबल को स्थानांतरित करने के तहत इस कमेटी के सदस्य मिलकर काम करेंगे। ये सभी जीएमआरएल का सहयोग करेंगे। वहीं इस कमेटी में जीएमडीए, हरियाणा विद्युत प्रसारण निगम, एचएसवीपी, दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम, एचएसआई आईडीसी, नगर निगम और एचएमआरटीसी के अधिकारी शामिल रहेंगे।
रेलवे स्टेशन में मेट्रो स्टेशन बनाने की योजना
मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में होने वाली बैठक में मेट्रो का सेक्टर-5 से लेकर रेलवे स्टेशन तक विस्तार करने के बारे में चर्चा की जाएगी। वहीं मेट्रो रूट के तहत सेक्टर-5 में एक स्टेशन तैयार होना हैं, इसके एक किलोमीटर दूरी पर रेलवे स्टेशन हैं। भौंडसी से राजीव चौक होते हुए रेलवे स्टेशन तक मेट्रो प्रस्तावित हैं, लेकिन इसे बनने में अभी काफी समय लगेगा, ऐसे में अधिक से अधिक यात्रियों को मेट्रो को लाभ देने के लिए सेक्टर-5 के बाद रेलवे स्टेशन में मेट्रो का नया स्टेशन बनाने की योजना हैं।
कहां-कहां बनाए जाएंगे मेट्रो स्टेशन? Haryana Metro News
ओल्ड गुरुग्राम मेट्रो रूट के तहत सबसे पहले स्टेशन मिलेनियम सिटी सेंटर मेट्रो स्टेशन के बिल्कुल समीप बनाया जाएगा, 28.5 किलोमीटर लंबे मेट्रो रूट के निर्माण में करीब 5452 करोड़ रुपये का खर्चा आएगा, वहीं इसके तहत सेक्टर-45, साइबर पार्क, सेक्टर-47, सुभाष चौक, सेक्टर-48, सेक्टर-72ए, हीरो होंडा चौक, उद्योग विहार फेज छह, सेक्टर-10, सेक्टर-37सी, बसई, सेक्टर-101, सेक्टर-नौ, सेक्टर-सात, सेक्टर-4, सेक्टर-5, अशोक विहार, सेक्टर-3, बजघेड़ा रोड़, पालम विहार एक्सटेंशन, पालम विहार, सेक्टर-23ए, सेक्टर-22, उद्योग विहार फेज चार, उद्योग विहार फेज पांच, साइबर सिटी में मेट्रो स्टेशन बनाए जाएंगे।
डिपो की जमीन को लेकर होगी चर्चा
मुख्यमंत्री अध्यक्षता में आयोजित बैठक में सेक्टर-33 डिपो की जमीन को लेकर चर्चा होगी, प्रस्तावित डिपो की जमीन पर मार्बल मार्केट की 61 दुकान हैं, जिसे दुसरी मार्बल मार्केट में विस्थापित करने की योजना को मुख्यमंत्री के सामने रखा जाएगा, इसके बाद अदालत में विचाराधीन जमीन के विवाद को अतिशीघ्र सुलझाने को लेकर चर्चा की जाएगी।