नवजात बच्चों पर ठंड का होता है अधिक प्रकोप, विशेष ऐतिहात बरतने की जरूरत : डॉ. अंचल
भिवानी (इन्द्रवेश)। पिछले एक सप्ताह से मौसम का मिजाज काफी सर्द है और इस मौसम के सर्द तेवर से ना केवल बुजुर्ग व जवान, बल्कि बच्चे भी प्रभावित हो रहे हैं। ऐसे में चिकित्सकों ने नवजात शिशुओं की विशेष देखभाल करने की सलाह दी है, क्योंकि नवजात शिशु इस ठंड से ज्यादा प्रभावित हो रहे हैं।
नवजात शिशुओं को ठंड से बचाया जा सकें
बता दें कि भिवानी जिला में इन दिनों रात के समय का तापमान लगभग 3 से 4 डिग्री तो वहीं दिन के समय का तापमान 12 से 14 डिग्री आंका जा रहा है। ऐसे में नवजात शिशुओं को उचित आहार एवं उचित तापमान में रखने की सलाह चिकित्सकों द्वारा दी जा रही है, ताकि नवजात शिशुओं को ठंड से बचाया जा सकें। भिवानी के एक निजी अस्पताल के संचालक डॉ. विनोद अंचल ने नागरिकों को सलाह देते हुए कहा कि नवजात शिशुओं को कंबल से ढांप कर रखें, गर्म पेय पदार्थ वाले आहार दें। उन्होंने बताया कि शिशु को ठंडे हाथ न लगाए, क्योंकि इससे इंफेक्शन होने की संभावना भी हो जाती है। उन्होंने अभिभावकों से अपील करते हुए कहा कि बच्चों को बेवजह घर से बाहर ना घूमने दें। जरूरी कार्य हो, तभी ठंड में बाहर निकलें अन्यथा नहीं।
डॉ. अंचल ने कहा कि इस तरह की छोटी-छोटी बातों का ध्यान रखकर छोटे बच्चों एवं नवजात शिशु को ठंड से बचाया जा सकता है। वहीं शिशु विशेषज्ञ महिला चिकित्सक ने बताया कि अब जो सर्दी का मौसम चल रहा है, इससे जवान व बुजुर्ग अपना बचाव कर सकते हैं, लेकिन बच्चें व शिशुओं के विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता है, क्योंकि यह उनके लिए खतरनाक एवं जानलेवा साबित हो सकती है। उन्होने कहा कि इन दिनों ज्यादातर नजला, गला, छाती में ठंड होने की वजह से सांस लेने में दिक्कत इस तरह मामले सामने आ रहे है। ऐसे में यह अभिभवकों की जिम्मेवारी बनती है कि वे छोटे बच्चों एवं नवजात शिशुओं का विशेष ध्यान रखें।
-डॉ. विनोद अंचल एवं शिशु विशेषज्ञ महिला चिकित्सक।
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