Treatment of Coronavirus | रिसर्च में हुआ खुलासा
ह्यूस्टन। जानलेवा कोरोना वायरस का अध्ययन कर रहे अनुसंधानकर्ताओं को पता चला है कि व्यक्ति से व्यक्ति में संक्रमण फैलने में एक हफ्ते से कम का वक्त लगता है और करीब 10 प्रतिशत मरीजों में यह संक्रमण वायरस (Treatment of Coronavirus से प्रभावित ऐसे व्यक्ति से फैलता है, जिसमें अब तक लक्षण नजर आने शुरू भी नहीं हुए हैं। यह ऐसी खोज है, जो इस महामारी को रोक पाने में जन स्वास्थ्य अधिकारियों की मदद कर सकती है।
कैसे किया अध्ययन?
इस अध्ययन में वायरस से संक्रमित दो लोगों (वह व्यक्ति जो दूसरे को संक्रमित करता है और दूसरा संक्रमित होने वाला अन्य व्यक्ति) में लक्षण नजर आने में लगने वाले समय को माप कर कोरोना वायरस के सिलसिलेवार अंतराल का अनुमान लगाया गया है। यूनिवर्सिटी आॅफ टेक्सस समेत अन्य विश्वविद्यालयों के अनुसंधानकर्ताओं के मुताबिक चीन में कोरोना वायरस संक्रमण के एक व्यक्ति से दूसरे में फैलने के बीच में औसतन चार दिन का समय लगा था।
दो बातों पर निर्भर करती है महामारी फैलने की गति |
उनका कहना है कि महामारी फैलने की गति दो बातों पर निर्भर करती है-एक व्यक्ति अन्य कितने लोगों को संक्रमित करता है और दूसरा अन्य सभी व्यक्तियों में इसे फैलने में कितना वक्त लगता है।वैज्ञानिकों का कहना है कि पहली स्थिति को प्रतिकृति संख्या और दूसरी को सिलसिलेवार अंतराल कहा जाता है।
कोरोना वायरस के कारण होने वाली बीमारी कोविड-19 का सिलसिलेवार अंतराल कम होने की वजह से प्रकोप तेजी से बढ़ेगा और इसे रोकना मुश्किल होगा। यूनिवर्सिटी आॅफ टेक्सस से सह-अनुसंधानकर्ता लॉरेन एंसेल मेयर्स ने कहा, ‘इबोला का सिलसिलेवार अंतराल कई हफ्ते था, जिसे कुछ दिनों के अंतराल वाले इंफ्लुएंजा से रोकना ज्यादा आसान है।
फ्लू की तरह फैल सकता है कोरोना वायरस
मेयर्स ने कहा कि डेटा से पता चलता है कि कोरोना वायरस फ्लू की तरह फैल सकता है और इसका मतलब है कि उभरते खतरे से निपटने के लिए हमें ज्यादा तेजी और आक्रामकता से बढ़ना होगा। यह अध्ययन ‘इमर्जिंग इंफेक्शस डिजीसेस’ पत्रिका में प्रकाशित हुआ है।
ये बरतें सावधानियां |
शीर्ष अमेरिकी स्वास्थ्य संस्था रोग नियंत्रण एवं निवारण केंद्र (सीडीसी) के अनुसार कोरोना के अटैक से बचने के लिए सुरक्षा की शुरूआत अपने घर से करें। सबसे पहले अपने घर को वायरस से निपटने के लिए तैयार करें। बच्चों को सकारात्मक रखें और उन्हें भरपूर प्यार दें।
घर पर रखें ख्याल, परिजनों से सावधानी पर करें चर्चा
परिजनों, रिश्तेदारों और मित्रों को जीवनशैली से जुड़ी सावधानियों के बारे में बताएं। पड़ोसियों के साथ मिलकर आपातकालीन स्थिति की योजना बनाएं। बीमारी की स्थिति में संपर्क करने वाले लोगों की सूची बनाएं और साथ के लोगों के साथ साझा करें।
मुलाकात से बचें
बीमार लोगों से मिलने पर परहेज करें। यदि खुद बीमार हैं तो डॉक्टर से मिलने के अलावा बाहर निकलने से बचें। खांसी और जुकाम होने पर टिश्यू का इस्तेमाल करें। परिजनों के साथ कम बैठें।
घर की चीजों की रोज करें सफाई
घर पर जिन वस्तुओं का रोजाना इस्तेमाल हो रहा है। उनकी सफाई रोजाना करें। कुर्सी, मेज, लाइट के स्विच, दरवाजे और हत्थे को घर के सभी लोग इस्तेमाल करते हैं, इन्हें रोजाना साफ करें।
बीस सेकेंड्स तक साफ करें हाथ
पानी और साबुन का इस्तेमाल करते हुए हाथों को बीस सेकेंड्स तक रगड़कर साफ करें। खाने के पहले और बाद, शौचालय के इस्तेमाल के बाद अवश्य साबुन से हाथ धुलें। ऐसे सेनेटाइजर का इस्तेमाल करें जिसमें 60 प्रतिशत एल्कोहल हो।
बच्चों के लिए सतर्कता, स्कूल प्रबंधन को करें सूचित
यदि बच्चे को खांसी या जुकाम है तो स्कूल के प्रबंधन को सूचित करें। साथ ही बच्चों के लिए घर पर की जाने वाली प्रैक्टिस और अध्ययन की मांग करें।
समूह से दूर रहने को करें प्रेरित
- यदि बच्चा स्कूल जा रहा है तो उसे समूह से परहेज करने के लिए कहें।
- साथ ही एकल खेल में हिस्सा लेने के लिए प्रोत्साहित करें।
अपनों से संपर्क में रहें
खुद व परिजनों से लगातार संपर्क में रहें। मुलाकात न सही तो भी फोन और ईमेल के जरिए उनसे बातचीत करते रहें। बच्चों से स्नेह से बात करें और उन्हें सकारात्मक रहने को प्रेरित करते रहें।
किसे पहनना चाहिए मास्क?
- अगर आप स्वस्थ हैं तो आपको मास्क की जरूरत नहीं है।
- अगर आप किसी कोरोना वायरस से संक्रमित व्यक्ति की देखभाल कर रहे हैं, तो आपको मास्क पहनना होगा।
- जिन लोगों को बुखार, कफ या सांस में तकलीफ की शिकायत है, उन्हें मास्क पहनना चाहिए।
मास्क पहनने का क्या है तरीका?
- मास्क पर सामने से हाथ नहीं लगाना चाहिए।
- अगर हाथ लग जाए तो तुरंत हाथ धोना चाहिए।
- मास्क उतारते वक्त भी मास्क की लास्टिक या फीता पकड़ कर निकालना चाहिए, मास्क नहीं छूना चाहिए।
- हर रोज मास्क बदल दिया जाना चाहिए।
कोरोना के खतरे को कम करने के उपाय
- कोरोना से मिलते-जुलते वायरस खांसी और छींक से गिरने वाली बूंदों के जरिए फैलते हैं।
- अपने हाथ अच्छी तरह धोएं।
- खांसते या छींकते वक्त अपना मुंह ढक लें।
- हाथ साफ नहीं हो तो आंखों, नाक और मुंह को छूने बचें।
कोरोना वायरस के लक्षण
- कोरोनावायरस (कोवाइड-19) में पहले बुखार होता है।
- इसके बाद सूखी खांसी होती है और फिर एक हफ्ते बाद सांस लेने में परेशानी होने लगती है।
- इन लक्षणों का हमेशा मतलब यह नहीं है कि आपको कोरोना वायरस का संक्रमण है।
- कोरोना वायरस के गंभीर मामलों में निमोनिया, सांस लेने में बहुत ज्यादा परेशानी, किडनी फेल होना और यहां तक कि मौत भी हो सकती है।
- उम्रदराज लोग और जिन लोगों को पहले से ही कोई बीमारी है (जैसे अस्थमा, मधुमेह, दिल की बीमारी) उनके मामले में खतरा गंभीर हो सकता है।
- कुछ और वायरस में भी इसी तरह के लक्षण पाए जाते हैं जैसे जुकाम और फ्लू में।
कोरोना का संक्रमण फैलने से कैसे रोकें? |
अगर आप संक्रमित इलाके से आए हैं या किसी संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में रहे हैं तो आपको अकेले रहने की सलाह दी जा सकती है। घर पर रहें आॅफिस, स्कूल या सार्वजनिक जगहों पर न जाएं सार्वजनिक वाहन जैसे बस, ट्रेन, आॅटो या टैक्सी से यात्रा न करें घर में मेहमान न बुलाएं।
- घर का सामान किसी और से मंगाएं।
- अगर आप और भी लोगों के साथ रह रहे हैं तो ज्यादा सतर्कता बरतें।
- अलग कमरे में रहें और साझा रसोई व बाथरूम को लगातार साफ करें।
- 14 दिनों तक ऐसा करते रहें ताकि संक्रमण का खतरा कम हो सके।
- इस तरह के कोई प्रमाण नहीं मिले हैं कि कोरोना वायरस पार्सल, चिट्टियों या खाने के जरिए फैलता है।
- कोरोना वायरस जैसे वायरस शरीर के बाहर बहुत ज्यादा समय तक जिंदा नहीं रह सकते।
कोरोना वायरस का संक्रमण हो जाये तब?
- इस समय कोरोना वायरस का कोई इलाज नहीं है।
- इसमें बीमारी के लक्षण कम होने वाली दवाइयां दी जा सकती हैं।
- जब तक आप ठीक न हो जाएं, तब तक आप दूसरों से अलग रहें।
- कोरोना वायरस के इलाज के लिए वैक्सीन विकसित करने पर काम चल रहा है।
- इस साल के अंत तक इंसानों पर इसका परीक्षण कर लिया जाएगा।
- कुछ अस्पताल एंटी-वायरल दवा का भी परीक्षण कर रहे हैं।
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