बार्डर-गावस्कर ट्रॉफी बनी कुंबले-श्रीराम की जंग

स्पिनर स्टीव ओ कीफे ने गेंदबाजी का श्रेय श्रीराम को दिया था

नई दिल्ली (एजेंसी)। भारत और आस्ट्रेलिया के बीच चार टेस्टों की सीरीज को पहले कप्तान विराट कोहली और स्टीवन स्मिथ के बीच जंग के तौर पर देखा जा रहा था लेकिन पुणे टेस्ट के बाद यह जंग भारतीय कोच अनिल कुंबले और आस्ट्रेलियाई टीम के स्पिन सलाहकार श्रीधरन श्रीराम के बीच मुकाबले के रुप में बदल गई है। पुणे में पहली बार आयोजित हुए टेस्ट मैच में स्पिन को मददगार पिच मिली थी जिसके लिए माना जा रहा था कि भारतीय गेंदबाज इस पिच का पूरा फायदा उठा ले जाएंगे लेकिन लेफ्ट आर्म स्पिनर स्टीव ओ कीफे ने दोनों पारियों में छह छह विकेट झटकते हुए भारतीय टीम को 333 रन की शर्मनाक हार झेलने के लिए मजबूर कर दिया।

कीफे के इस करिश्माई प्रदर्शन का श्रेय आस्ट्रेलियाई टीम के स्पिन सलाहकार श्रीराम को दिया जा रहा है जिन्होंने एक समय असम, महाराष्ट्र और गोवा जैसी छोटी टीमों के लिए रणजी मैच खेले थे। पुणे के मैच से पहले कीफे और श्रीराम का नाम किसी की जुबान पर नहीं था लेकिन पुणे के कत्लेआम के बाद अब हर कोई इन दोनों की चर्चा कर रहा है। कीफे ने भी अपनी गेंदबाजी का श्रेय श्रीराम को दिया है।

दिलचस्प बात है कि भारतीय टीम के पास कुंबले के रुप में दुनिया के सर्वश्रेष्ठ स्पिनरों में से एक गेंदबाज कोच के रुप में मौजूद हैं। भारत के पास टेस्ट रैंकिंग में रविचंद्रन अश्विन और रवींद्र जडेजा के रुप में दो शीर्ष गेंदबाज मौजूद हैं लेकिन इन दिग्गजों का तालमेल भी भारत को पुणे में जीत नहीं दिला पाया। श्रीराम भारत में तमिलनाडु के लिए भी खेले थे और जब आस्ट्रेलिया ए ने 2015 में भारत का दौरा किया था तो वह आस्ट्रेलियाई टीम के साथ मौजूद थे।

श्रीराम दक्षिण अफ्रीका के लिए क्षेत्ररक्षक कोच और स्पिन सलाहकार रह चुके हैं। साथ ही वह दिल्ली डेयरडेविल्स के भी सहायक कोच हैं। दूसरी ओर कुंबले को देखें तो कुंबले का प्रोफाइल 619 टेस्ट विकेटों और 337 एकदिवसीय विकेटों के कारण काफी बड़ा नजर आता है। लेकिन पुुणे की जंग में कुंबले श्रीराम से पिछड़ गए। दूसरा टेस्ट चार मार्च से बेंगलुरु मे शुरु होना है जिससे यह तय हो जाएगा कि बार्डर-गावस्कर ट्रॉफी किस तरफ जाने वाली है। क्या भारत वापसी करेगा या आस्ट्रेलिया 2-0 की बढ़त बना लेगा।