कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष ने दोहरा चरित्र अपनाने का लगाया आरोप
अनिल कक्कड़ चंडीगढ़। हरियाणा कांग्रेस अध्यक्ष कुमारी सैलजा ने प्रदेश में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए हरियाणा सरकार द्वारा शनिवार और रविवार को दुकानों व कार्यालयों को बंद रखने के फैसले के बीच शराब के ठेकों के खुले रहने को लेकर हैरानी जताई है। उन्होंने कहा कि एक तरफ सरकार व्यापारियों और दुकानदारों का रोजगार चौपट करवा कर रही है, वहीं दूसरी ओर शराब के ठेके खोलने की अनुमति देना इस सरकार के दोहरे चरित्र को उजागर करता है। हरियाणा कांग्रेस अध्यक्ष कुमारी सैलजा ने कहा कि हरियाणा सरकार कोरोना संक्रमण पर काबू पाने में पूरी तरह से नाकाम रही है। इतना समय बीतने के बाद जब कोरोना प्रदेश में अपने पांव पसार चुका है, अब सरकार को दोबारा शनिवार और रविवार को प्रदेश में दुकानों व कार्यालयों को बंद रखने का फैसला लेना पड़ रहा है। सरकार द्वारा दुकानें और कार्यालय बंद रखने के फैसले के बीच प्रदेश में शराब के ठेके खुले रहना हैरान करने वाला है।
सरकार को शराब बिक्री की ज्यादा चिंता!
कुमारी सैलजा ने कहा कि कोरोना महामारी की शुरूआत से ही प्रदेश सरकार को शराब बिक्री की चिंता सता रही है। शराब कैसे आवश्यक वस्तु की श्रेणी में आ सकती है। हमने पहले भी देखा कि किस तरह से शराब के ठेकों पर लॉकडाउन के बीच भी भारी भीड़ उमड़ी थी। एक तरफ सरकार व्यपारियों और दुकानदारों का रोजगार चौपट करवा कर रही है, वहीं दूसरी ओर शराब के ठेके खोलने की अनुमति देना इस सरकार के दोहरे चरित्र को उजागर करता है। कुमारी सैलजा ने कहा कि अभी कुछ महीने पहले ही लॉकडाउन के बीच प्रदेश में शराब घोटाले को अंजाम दिया गया था। जिसमें बड़े-बड़े सफेदपोश और अधिकारियों की संलिप्तता सामने आई। वहीं अब सरकार द्वारा इस नए फैसले में शराब के ठेकों को खोलने की इजाजत देना, बड़े सवाल खड़े कर रहा है।
सरकार ने निर्णय जिला उपायुक्तों पर छोड़ा
वहीं विपक्ष द्वारा शराब के ठेकों को खोले जाने का विरोध किए जाने के बाद सरकार ने ठेके खोले जाने का आखिरी निर्णय जिला उपायुक्तों पर छोड़ दिया है। एक्साइज कमिश्नर ने पत्र लिख कर सभी जिलों के डीईटीसी को निर्देश दिए हैं कि संबंधित जिलों में ठेके खुले रखने की आखिरी पॉवर डीसी के पास होगी, स्थिति को देखते हुए डीसी निर्णय ले सकते हैं।
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