दिल्ली की हार के बाद संघ (RSS) ने दी नसीहत
भाजपा को स्थानीय नेताओं की जरूरत
नई दिल्ली (एजेंसी)। राज्यों में एक के बाद एक हार से भाजपा खेमे में चिंताएं बढ़ गई है। न सिर्फ पार्टी बल्कि आरएसएस भी दिल्ली की हार से सकते में हैं। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) ने अपने अंग्रेजी मुखपत्र ऑर्गनाइजर के जरिए भाजपा को नसीहत दी है। मुख्यमंत्र में लिखा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह हमेशा भाजपा की मदद नहीं कर सकते। भाजपा को अपने संगठन को दोबारा से पुर्नगठित करना होगा। ताकि राज्यों के चुनाव में उतारने के लिए स्थानीय नेता तैयार किए जा सकें।
मुखपत्र में कहा कि कोई खराब उम्मीदवार सिर्फ इसलिए अच्छा होने का दावा नहीं कर सकता, क्योंकि वह जिस पार्टी से ताल्लुक रखता है, वह अच्छी है। सच तो यह है कि जो खराब है, वह खराब ही रहेगा। ऑर्गनाइजर में ‘डेल्ही डाइवर्जेंट मेंडेट’ शीर्षक से लेख छपा है। इसके मुताबिक, ‘‘दिल्ली के बदलते चरित्र में ही जवाब छिपा है। भाजपा के लिए शाहीन बाग का मुद्दा फेल रहा, क्योंकि अरविंद केजरीवाल ने इसे खत्म कर दिया।’’ इससे पहले संघ और विश्व हिंदू परिषद ने कहा था कि हिंदूवादी राजनीति के चलते केजरीवाल को अपना ट्रेंड बदलना पड़ेगा।
- लेख में साफ संदेश है कि भाजपा की दिल्ली यूनिट पूरी तरह से नाकाम रही।
- जिस तरह आप ने 62 सीटें जीतकर विपक्ष का सफाया कर दिया
- उसे देखते हुए भाजपा को जमीनी स्तर पर बदलाव करने होंगे।
- हार के बाद भाजपा को ‘रोड़ा’ बने अपने महासचिवों के बारे में भी सोचना होगा।
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