मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर रोक का मामला कॉन्स्टिट्यूशन बेंच को रेफर

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नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने केरल के ऐतिहासिक सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर रोक का मामला शुक्रवार को कॉन्स्टिट्यूशन बेंच को रेफर कर दिया। चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा अगुआई वाली तीन जजों की बेंच ने इसके साथ कई सवाल भी उठाए हैं, जिन पर कॉन्स्टिट्यूशन बेंच विचार करेगी। सुप्रीम कोर्ट ने पूछा है, क्या मंदिर में महिलाओं को प्रवेश करने से रोकना कॉन्स्टिट्यूशन के तहत उन्हें मिले अधिकारों का हनन है?

जानकारी के अनुसार सुप्रीम कोर्ट ने यह सवाल भी किया है कि क्या सबरीमाला मंदिर महिलाओं के प्रवेश पर रोक लगा सकता है? सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि कॉन्स्टिट्यूशन बेंच इस सवाल पर भी विचार करे कि क्या इस प्रथा से महिलाओं के खिलाफ भेदभाव होता है।

केरल सरकार का क्या कहना है?

पिछले साल 7 नवंबर को केरल सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को यह बताया था कि वह इस ऐतिहासिक मंदिर में सभी उम्र की महिलाओं के प्रवेश के समर्थन में है। शुरुआत में LDF सरकार ने 2007 में मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का पक्ष लेते हुए प्रगतिशील रुख (progressive stand) अपनाया था। बाद में कांग्रेस की अगुआई वाली UDF (यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट) ने इसके विपरीत रुख अपनाया लिया।

 

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