हैदराबाद (एजेंसी)। राज्यपाल ईएसएल नरसिम्हन के तेलंगाना विधानसभा भंग करने की चंद्रशेखर राव (Rao) मंत्रिमंडल की सिफारिश वीरवार को तत्काल स्वीकार कर लेने से नवगठित राज्य की पहली सरकार का कार्यकाल चार साल तीन माह और चार दिनों में ही समाप्त हो गया।
राज्यपाल ने श्री के. चंद्रशेखर राव (Rao) से नई सरकार के गठन तक कार्यवाहक मुख्यमंत्री बने रहने का आग्रह किया जिसे श्री राव ने स्वीकार कर लिया। विधान सभा के भंग होते ही तेलंगाना में समय से पहले चुनाव कराने का मार्ग प्रशस्त हो गया।
श्री राव की अध्यक्षता में हुई बैठक में विधानसभा भंग करने की सिफारिश संबंधी एक पंक्ति का प्रस्ताव पारित किया गया। इसके बाद श्री राव मंत्रिमंडल के सहयोगियों के साथ राजभवन गए और उन्होंने श्री नरसिम्हन को प्रस्ताव की प्रति सौंपी।
तेलंगाना विधानसभा भंग होने से इसी वर्ष होने वाले मध्य प्रदेश, राजस्थान, छत्तीसगढ़ और मिजोरम विधानसभा चुनावों के साथ राज्य में चुनाव कराने का मार्ग प्रशस्त हो गया।
आंध्रप्रदेश एवं तेलंगाना के राज्यपाल श्री नरसिम्हन के प्रधान सचिव हरप्रीत सिंह ने एक आधिकारिक प्रेस विज्ञप्ति जारी करके बताया कि राज्यपाल ने श्री राव और उनकी मंत्रिपरिषद की विधानसभा भंग करने की सिफारिश स्वीकार कर ली है।
राज्य विधानसभा का कार्यकाल मई 2019 तक था और इसका चुनाव लोकसभा चुनाव के साथ होने की उम्मीद थी।
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