Punjab Agricultural University: पुलिस छावनी में बदली पीएयू, विरोधियों ने वीसी सहित सरकार पर कसा राजनीतिक तंज

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Ludhiana News: पंजाब कृषि यूनिवर्सिटी लुधियाना के थापर हॉल के बाहर बड़ी संख्या में तैनात पुलिस बल। तस्वीर: सिंगला

पूर्व विद्यार्थियों व विरोधी पार्टियों के उम्मीदवारों ने घटना को बताया निंदनीय

लुधियाना (सच कहूँ/जसवीर सिंह गहल)। Punjab Agricultural University: मंगलवार का पूरा दिन लुधियाना में स्थित पंजाब कृषि यूनिवर्सिटी शिक्षा मंदिर की जगह पुलिस छावनी में तबदील रहा, जिस पर विरोधियों ने यूनिवर्सिटी के वाईस चांसलर साथ-साथ आम आदमी पार्टी पर भी निशाना साधा। प्राप्त जानकारी के अनुसार पीएयू इम्प्लाईज यूनियन ने संस्पैंड किए अपने साथी के समर्थन में मंगलवार को यूनिवर्सिटी के थापर हॉल समक्ष धरना लगाना था लेकिन इससे पहले ही भारी तादाद में पुलिस गेट नम्बर 2 से लेकर थॉपर हाल तक तैनात थी। Ludhiana News

जहां बड़ी संख्या में मौजूद पुलिस ने धरना देने पहुंचने वालों को धरने पर बैठने से पहले ही हिरासत में ले लिया। इसके साथ ही यूनिवर्सिटी के गेट नम्बर-1 को जहां रस्सी लगाकर बंद किया गया था, वहीं गेट नम्बर-2 पर भी भारी तादाद में पुलिस बल तैनात रहा, जो यूनिवर्सिटी में जाने वालों पर नजर रख रहा था। शिक्षा का मंदिर समझे जाने वाली यूनिवर्सिटी के पुलिस छावनी में तबदील होने की भनक लगते ही जहां यूनिवर्सिटी के विद्यार्थी रहे सीनियर सिटीजनों व मौजूदा कर्मियों ने पीएयू पहुंचकर इस कार्रवाई की निंदा की, वहीं शिअद के विधानसभा हलका पश्चिमी लुधियाना से उम्मीदवार

एडवोकेट परोपकार सिंह घुंमन व कांग्रेस उम्मीदवार पूर्व मंत्री भारत भूषण आशू ने मौके का फायदा उठाते यूनिवर्सिटी पहुंचकर आम आदमी पार्टी की सरकार पर निशाने साधते वाईस चांसलर डॉ. सतबीर सिंह गोसल सहित आप को भी कटघरे में खड़ा कर दिया। बावजूद इसके इस मौके आम आदमी पार्टी से किसी भी नेता ने यूनिवर्सिटी में पहुंचने की जहमत नहीं उठाई। जबकि सत्तापक्ष के उम्मीदवार संजीव अरोड़ा का कार्यालय भी यूनिवर्सिटी के गेट नम्बर-1 के सामने ही हाईवे पर स्थित है।

अवतार सिंह
एडवोकेट परोपकार सिंह घुंमन
पूर्व मंत्री भारत भूषण आशू

‘ऐसा पहले कभी नहीं हुआ’ | Ludhiana News

यूनिवर्सिटी के पूर्व विद्यार्थी व सीनियर सिटीजन अवतार सिंह ने कहा कि अब तक के इतिहास में यह पहला मौका है जब पीएयू में इतनी बड़ी संख्या में पुलिस किसी धरने को रोकने आई है। ऐसा पहले कभी नहीं हुआ। उन्होने कहा कि यूनिवर्सिटी शिक्षा का मंदिर है, इसे राजनीतिक अखाड़ा न बनाया जाए।

‘कानूनी लड़ाई लड़ेंगे’

एडवोकेट परोपकार सिंह घुंमन ने कहा कि मामले में वह कर्मचारियों के साथ हैं। किसी के साथ धक्का नहीं होने दिया जाएगा। उन्होंने ऐलान किया कि शिअद मामले में कर्मचारियों की कानूनी लड़ाई लड़ेगी। सरकार हो या यूनिवर्सिटी प्रशासन किसी को भी कर्मियों से धक्केशाही नहीं करने दी जाएगी।

पूर्व मंत्री भारत भूषण आशू ने कहा कि यह सरकार व यूनिवर्सिटी के प्रशासन की नाकामी है कि आज शिक्षा का मंदिर राजनीतिक अखाड़ा बन चुका है, जिसके तहत यूनिवर्सिटी की बेहतरी के लिए लड़ने वाले स्टाफ को पुलिस कार्रवाई का निशाना बनना पड़ा रहा है, जिसकी वह कड़े शब्दों में निंदा करते हैं। Ludhiana News

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