कैथल (सच कहूं न्यूज) जिले में तीन दिन के अंदर लगातार दो महिला सरपंच को निलंबित किया गया है। आंधली गांव की सरपंच के बाद अब डीसी प्रीति ने मुंदड़ी गांव की सरपंच शशि को फर्जी तरीके से अनुसूचित जाति प्रमाण पत्र बनवाकर सरपंच बनने पर पद से हटा दिया है। डीसी प्रीति ने सरपंच के खिलाफ मिली शिकायत के बाद जांच के आदेश दिए थे।
जांच के आदेश पर जिला प्रशाशन ने शशि को कारण बताओ नोटिस जारी किया। शशि ने 28 फरवरी 2025 को अपना जवाब जिला प्रशासन के समक्ष पेश किया। जिला प्रशासन को उनका जवाब संतोषजनक नहीं लगा। डीसी प्रीति ने सभी तथ्यों और सुनवाई के आधार पर शशि के प्रमाण पत्र को अवैध करार देते हुए उन्हें सरपंच पद से हटाने और आगामी 6 वर्षों तक पंचायती राज संस्थाओं के चुनाव लड़ने से अयोग्य घोषित करने का आदेश दिया। आदेश में स्पष्ट कहा गया कि अब बहुमत वाले पंच को सरपंच पद का कार्यभार सौंपा जाएगा।
उत्तरप्रदेश के बिजनौर जिले की रहने वाली है शशि
बता दे कि शशि मूल रूप से दयाल सिंह वाला गांव जिला बिजनौर, उत्तर प्रदेश की रहने वाली हैं। उन्होंने रोड जाती के महेंद्र वासी मुंदड़ी से शादी करवाई।नियमों के अनुसार अनुसूचित जाति का लाभ केवल जन्म से उस जाति में आने वाले व्यक्ति को ही मिल सकता है। इस आधार पर शशि को जारी किया गया अनुसूचित जाति प्रमाण पत्र अवैध पाया गया। जिसके चलते उन्हें सरपंच पद से हटाया गया है।
जिले में तीन दिन में दूसरी महिला सरपंच निलंबित]
गौरतलब है कि पिछले तीन दिनों में डीसी द्वारा ये दूसरी कार्रवाई की गई है जिसमें महिला सरपंच को निलंबित किया गया है। इससे पहले आंधली गांव की सरपंच को पंचायती जमीन के दुरुपयोग के मामले में सस्पेंड किया गया था। उन्होंने बिना लीज के पट्टेदारों को जमीन दी थी और अपने पंचायती मोबाइल नंबर का ओटीपी देकर 52 एकड़ पंचायती भूमि का पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन करवा दिया था।