नई दिल्ली (एजेंसी)। पाकिस्तानी सैनिकों ने जम्मू जिले में सीमा चौकियों व गांवों को मोर्टार के गोलों और छोटे हथियारों का निशाना बनाया जिसमें एक आठ महीने के बच्चे की मौत हो गई व एक विशेष पुलिस अधिकारी सहित छह लोग घायल हो गए। अधिकारियों ने बताया कि नियंत्रण रेखा और अंतरराष्ट्रीय सीमा पर कई इलाकों में सीमा पार से गोलीबारी की गई जिसका भारतीय सैनिकों ने माकूल जवाब दिया। आठ महीने का नितिन कुमार नियंत्रण रेखा पर पल्लनवाला सेक्टर में अपने घर के बाहर अपने परिवार के साथ सो रहा था जब पाकिस्तान की गोलीबारी में उसकी मौत हो गई।
जबकि अरनिया सेक्टर में अंतरराष्ट्रीय सीमा पर पाकिस्तान की गोलीबारी में एक विशेष पुलिस अधिकारी (एसपीओ) सहित छह लोग घायल हो गए हैं। इससे पहले जम्मू जिले में दो दिन पहले पाकिस्तान की गोलीबारी में बीएसएफ का एक जवान और चार आम नागरिकों की मौत हो गई थी। जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने शनिवार के गोलीबारी में प्रभावित हुए कुछ लोगों से मिलीं और घटनाओं को दुर्भाग्यपूर्ण बताया। उन्होंने कहा कि गोलीबारी ऐसे समय में हुई जब रमजान का महीना शुरू ही हुआ और राज्य के लोगों ने पाक महीने में राज्य में सुरक्षा संबंधी अभियानों पर एकतरफा रोक की केंद्र सरकार की घोषणा के बाद राहत की सांस ली थी।
केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा कि रमजान के पाक महीने में लोगों की जान लेकर पाकिस्तान ने पाक महीने का अनादर किया है। बीएसएफ ने बताया कि सीमा पार से सुबह करीब सात बजे से मोर्टार से गोले दागने शुरू हुए थे। पाकिस्तान की गोलाबारी में विक्रम, चिनाज और जबोवाल की सीमा चौकियां प्रभावित हुईं। बीएसएफ के एक अधिकारी ने कहा कि सीमा की सुरक्षा में तैनात बीएसएफ के जवानों ने जवाबी कार्रवाई की और दोनों पक्षों के बीच गोलीबारी का आदान प्रदान दोपहर करीब दो बजे रुका। पाकिस्तान रेंजर्स ने अरनिया कस्बे में मोर्टार के गोले बरसाए जिनमें से एक पुलिस थाने पर गिरा जिससे उसकी दीवार और बाहर खड़े कुछ वाहन क्षतिग्रस्त हो गए।