Hathras Accident: भोले बाबा अपने मैनपुरी आश्रम पर हैं या नहीं… ? नहीं कर रहा कोई पुष्टि,  भारी तादाद में मौजूद है पुलिस फोर्स

Hathras Accident
Hathras Accident: भोले बाबा अपने मैनपुरी आश्रम पर हैं या नहीं... ? नहीं कर रहा कोई पुष्टि,  भारी तादाद में मौजूद है पुलिस फोर्स

Hathras Accident: मैनपुरी ( विकास पालीवाल )। हाथरस हादसे को लेकर पूरे यूपी में पुलिस प्रशासन लगातार एक्टिव है, इस मामले पर सीएम योगी आदित्यनाथ नजर बनाये हुए हैं और वो हाथरस पहुंच गए हैं। वहीं सूत्रों के अनुसार बाबा के मैनपुरी स्थित बिछवा हरिनगर आश्रम पर पुलिस मौजूद है। पता लगा है कि हादसे के बाद मंगलवार दोपहर तीन बजे के करीब बाबा नारायण साकार हरि उर्फ भोले बाबा यहीं पहुंचे थे । पुलिस आश्रम में पड़ताल कर रही है, हालाँकि अभी तक किसी तरह का आधिकारिक बयान या पुष्टि पुलिस की तरफ से बाबा को लेकर नहीं की गई है । वहीं इस पूरे मामले को लेकर हाथरस प्रशासन की रिपोर्ट सामने आई है। जिसमें कहा गया है कि सत्संग के बाद बाबा के काफिले को उनके अंगरक्षक और सेवादार निकाल रहे थे । तभी जीटी रोड पर खड़े भक्तों ने उनके काफिले के पीछे आशीर्वाद स्वरुप उनकी चरण राज/मिट्टी उठाने के लिए भागना शुरू किया। सेवादारों ने बल प्रयोग कर उन्हें रोका। इस दौरान कई महिलाएं वहां गिर पड़ीं, जिन्हे पीछे से आई भीड़ रौंदते हुए निकल गई ।

सूत्रों के अनुसार पुलिस की कई टीमें हाथरस, अलीगढ़, आगरा, कासगंज, एटा समेत दिल्ली में बाबा की तलाश कर रही हैं। बताया जा रहा है कि सूरज पाल के एक मकान का पता लगा है जो आगरा में है। सूत्रों के अनुसार ये मकान बीते 10 साल से बंद पड़ा है। बता दें कि कासगंज के पटियाली थाना क्षेत्र के बहादुर नगर के निवासी ‘भोले बाबा’ का असली नाम सूरज पाल सिंह (70 साल) है। अनुसूचित जाति (एससी) के सूरज पाल ने करीब दो दशक पहले पुलिस की नौकरी छोड़ दी थी। जिसके बाद उन्होंने आध्यात्म का रुख किया और ‘भोले बाबा’ बन गए। सूरज पाल तीन भाई हैं, जिनमें से एक की मौत हो चुकी है। उनकी शादी हो चुकी है, हालांकि कोई संतान नहीं है पर वह पत्नी को सत्संग में साथ लेकर जाते रहे हैं।

इधर मैनपुरी जिले के बिछवां स्थित आश्रम में भोले बाबा पहुंचने की खबर के बाद यहां मंगलवार से ही चहल कदमी बढ़ी हुई है । मंगलवार को सूचना मिलते ही थाना बिछवां पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। सीओ भोगांव सुनील कुमार भी आश्रम पहुंचे थे । लेकिन बाबा ने उनसे मुलाकात नहीं की। इसके बाद वे वापस लौट गए थे । अभी इनके इस बिछवा स्थित आश्रम में मौजूद हैं या नहीं, ये जानकारी नहीं मिल पा रही है । विदित हो कि सत्संग में भगदड़ से 116 लोगों की मौत हो गई। वहीं करीब डेढ़ सैकडा लोग घायल हैं ।