ज्योतिबा फुले ने दिखाई सामाजिक बदलाव की राह
महात्मा ज्योतिबा फुले भारत में सामाजिक परिवर्तन की लड़ाई के अगुवा हैं। अपने विचारों और कार्यों की बदौलत उन्होंने दलित-वंचित समाज को वर्ण-व्यवस्था के भेदभावकारी व शोषणकारी चंगुल से आजादी के लिए निर्णायक संघर्ष का नेतृत्व किया। इसके साथ ही उन्होंने देश ...
ट्रंप-मोदी मुलाकात से चीन-पाक चिंतित
ट्रंप-मोदी की मुलाकात की चर्चा चीन व पाकिस्तान में सबसे ज्यादा हो रही है। विदेशी निवेश के लिए जिस तरह से दोनों देशों ने एक-दूसरे के लिए रास्ते खोले हैं। उससे चीन सबसे ज्यादा विचलित हो रहा है। उसकी विचलाहट इसलिए है कि अगर अमेरिका का निवेश भारतीय बाजार...
चीन में धार्मिक आजादी पर संकट
संयुक्त राष्ट्र की नस्ली भेदभाव उन्मूलन समिति का यह खुलासा चीन के दोहरे चरित्र को उजागर करने वाला है कि उसने 10 लाख से ज्यादा उइगर मुस्लिमों को कथित तौर पर कट्टरवाद विरोधी गुप्त शिविरों में कैद रखा है और 20 लाख अन्य को विचारधारा बदलने का दबाव बना रहा...
क्या यूपी में कांग्रेस की स्थिति सुधरेगी
लोकसभा चुनाव के लिए राजनीतिक दल अपनी संभावनाओं को तलाशते हुए दिखाई देने लगे हैं। खासकर केन्द्रीय भूमिका में विपक्षी दलों की इस बात के लिए कवायद की जाने लगी है कि कैसे भी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन यानी भाजपा नीत सरकार बनने से इस बार रोका जाए। मात्र ...
क्या नई नीति लक्ष्य पूरे करने में कामयाब होगी?
नई नीति में सुनियोजित ढंग से कृषि क्षेत्र में जल का उपयोग कम करने की रूपरेखा तय की जानी चाहिए।
मूल्य वर्धित फसलों पर बल दिया जाना चाहिए जिनमें जल की खपत कम हो ताकि अगले तीन-चार वर्षों में जल की खपत में 8-9 प्रतिशत की कमी आए।
संजीता चानू को मिली डोपिंग के दंश से मुक्ति
राष्ट्रमंडल खेलों में दो बार की स्वर्ण पदक विजेता भारतीय भारोत्तोलक खुमुकचम संजीता चानू पिछले करीब 8-9 महीनों से डोपिंग मामले में लंबे प्रतिबंध के कारण मानसिक पीड़ा से जूझ रही थी किन्तु वर्ष 2019 उनके लिए बहुत बड़ी राहत लेकर आया है, जब उन पर लगा डोपिंग...
चीन की बद्नीयति का शिकार होता गिलगित
चीन की शह और सहायता से पाकिस्तान ने गिलगित-बाल्टिस्तान को हथियाने का वैधानिक दांव चल दिया हैं। पाकिस्तान की कैबीनेट ने 21 मई 2018 को गिलगित-बाल्टिस्तान के संबंध में पांचवा प्रांत बनाए जाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी है। क्षेत्रीय विधानसभा ने भी इसका सम...
स्वतंत्रता संग्राम के प्रमुख सेनानियों में एक थे गुलाम अब्बास
जाहिद खान
फिल्म निर्माता, निर्देशक, कथाकार, पत्रकार, उपन्यासकार, पब्लिसिस्ट और देश के सबसे लंबे समय तकरीबन बाबन साल तक चलने वाले स्तंभ ‘द लास्ट पेज’ के स्तंभकार ख्वाजा अहमद अब्बास उन कुछ गिने चुने लेखकों में से एक हैं, जिन्होंने अपने लेखन और फिल्मों...
गूंगी हो गई है हमारी राष्ट्रभाषा
दुनियां भर में हिंदी का उपयोग और प्रचार प्रसार लगातार बढ़ रहा है मगर अपने ही देश में राज भाषा का आधिकारिक दर्जा पाने के बावजूद यह भाषा जनभाषा के रूप में स्थापित होने का अब भी इंतजार कर रही है। गाँधी के शब्दों में बात करें तो राष्ट्रभाषा के बिना राष्ट्...
कानून का मखौल उड़ाती पंचायतें
आजादी के बाद आशा बंधी थी कि वैधानिक प्रयासों से विवाह और जाति के कठोर बंधन में लचीलापन आएगा। पर राजनीतिक दलों ने जिस तरह जाति को सत्ता का साधन बना कर प्रयोग किया, उससे सरकारों की दशा और दिशा का निर्धारण होना शुरू हो गया। सत्ता में चाहे जो रहे, पर आज ...