Water Management Plan : जल प्रबंधन पर बने प्रभावी योजना
Water Management Plan : मात्र 15 या 20 दिन पहले दिल्ली में पानी की कमी से हाहाकार मची हुई थी। दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार हरियाणा पर पानी न देने का आरोप लगा रही थी। भाजपा द्वारा भी दिल्ली में पानी के लिए दिल्ली सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किए जा रह...
बेटा, बहुत भयानक कर्म था, सूली से सूल हो गया। यह साध-संगत की सेवा का ही फल है।’’
यह बात 10 अक्तूबर, 1988 की है। मैं बिजली बोर्ड में लाईनमैन के पद पर नियुक्त था। मुझे मासिक सत्संग पर आश्रम में जाना था परंतु छुट्टी न मिलने के कारण नहीं जा सका। उसी दिन शाम को मैं सांगला गांव में एक हजार वोल्टेज पर काम कर रहा था। अचानक दुर्घटना हुई औ...
मध्यप्रदेश की राजनीति में तीसरी ताकत का उभार
परम्परागत रूप से मध्यप्रदेश की राजनीति दो ध्रुवीय रही है। अभी तक यहां की राजनीति में कोई तीसरी ताकत उभर नहीं सकी है।हमेशा की तरह आगामी विधानसभा चुनाव के दौरान भी मुख्य मुकाबला कांग्रेस और भाजपा के बीच ही है लेकिन ऐसा माना जा रहा है कि इस बार यह मुकाब...
प्रेरणास्त्रोत: लेखक की पत्नी
'भामती' की रचना के पीछे एक त्याग भरी कहानी है। 'भामती' वाचस्पति पंडित के संपूर्ण जीवन की साधना है। उन्होंने इसकी रचना में लगभग अपना पूरा जीवन लगा दिया।
सीमा सड़क को लेकर कहां खड़ा है भारत
तिब्बत के गोंकर हवाई अड्डा किसी भी मौसम में वह उपयोग करता है। जहां लड़ाकू विमानों की तैनाती की गयी है। तिब्बत और यूनान प्रान्त ने वृहद् मात्रा पर सड़क और रेल नेटवर्क का सीधा तात्पर्य है कि चीनी सेना केवल 48 घण्टे में भारत-चीन सीमा पर आसानी से पहुंच सकत...
कतर पर प्रतिबन्ध के मायने
खाड़ी देशों में एक अजीब घटनाक्रम देखने को मिल रहा है। इस्लामिक स्टेट की आर्थिक मदद के आरोप में सऊदी अरब सहित कई मध्य एशियाई इस्लामिक देशों ने कतर पर प्रतिबन्ध लगा दिए हैं। इस प्रतिबन्ध के दूरगामी असर भारत पर भी दिखने के असार हैं। दरअसल कतर की चर्चा उस...
जैव-विविधता प्रकृति का अनुपम उपहार
पर्यावरण एवं प्राकृतिक संतुलन बनाए रखने में जैव-विविधता के महत्व देखते हुए अंतरराष्ट्रीय जैव-विविधता दिवस 22 मई को मनाया जाता है। जैव विविधता का सम्बन्ध पशुओं और पेड़ पौधों की प्रजातियों से है। जैव विविधता को बनाये रखने के लिए यह महत्वपूर्ण है की हम अ...
मध्य प्रदेश की मिसाल निराशाजनक
सबसे निराशाजनक पहलू यह है कि सरकार किसी मुद्दे पर नहीं गिरी बल्कि पार्टी विधायकों की नीयत गिर गई जो राजनेताओं की स्वार्थी सोच के चलते पर सवाल खड़े कर रही है।
दिल्ली में ‘आप’ की सफलता के निहितार्थ
पूरी चुनावी प्रक्रिया के दौरान ‘आप’ का मुख्य फोकस अपने विकास कार्यों पर रहा, जबकि मुख्य प्रतिद्वंद्वी भाजपा द्वारा आम जन-सरोकारों से जुड़े मुद्दों को दरकिनार कर पूरे चुनाव को शाहीन बाग, एनआरसी, धारा 370, तीन तलाक, राममंदिर, पाकिस्तान जैसे मुद्दों से जोड़ने का प्रयास किया गया.
सरकार का तमाशा
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी के दो अन्य नेताओं की तरफ से उप राज्यपाल के विरूद्ध धरना देने से केन्द्र, राज्य सरकार और संवैधानिक संस्थाओं का तमाशा बन गया है। आप सरकार से नाराज आईएएस अफसर हड़ताल पर हैं और दिल्ली का सारा कामकाज ...