जानिये, पूज्य गुरु जी ने बेटियों को क्यों कहा हीरा

Baba Ram Rahim story

सवाल: एक युवा का रहन-सहन और पहनावा कैसा होना चाहिये? (Gurmeet Ram Rahim Singh)

जवाब: संसार में जो चीज अच्छी लगती हो, नंगापन न हो, धर्म कहते हैं, उसको पहनो और खाओ। वो जो खुद को अच्छा लगता हो। दुनिया में तो पता नहीं किस को क्या चीज अच्छी लगती है। आपके शरीर के लिए क्या पता
साइड इफेक्ट करती हो, एलर्जी करती हो। तो अच्छा पहनावा हमारे अनुसार वहीं है। चाहे आप फैशन करें, लेकिन जिसमें देखने वाले को पॉजीटिव वेबस आनी चाहिये। कर्इं लोग ऐतराज करते हैं कि बेटियों के कम कपड़े होते हैं, आदमी की गंदी सोच होती है, जी नहीं। हमारे धर्मों में बेटी को हीरा कहा गया है। और हीरे को कोई नंगा या खुला नहीं छोड़ता। आज समाज इस दिशा में जा रहा है, संस्कृति हमारी गुम होती जा रही है, संस्कृति में बदलाव बहुत आते जा रहे हैं। लोग फॉरन कल्चन को अपनाते जा रहे हैं। हम ये नहीं कहते कि आप कैसे कपड़े पहनो, वो आपकी मर्जी है। लेकिन हम धर्मानुसार ये ही कहेंगे कि बेटा ऐसा कपड़े पहनो जिससे पॉजीटिव वेवस आए, न कि कुछ नेगटिवी आये। बेटियों को हीरा कहा गया है, ये कोई छोटी-मोटी बात नहीं, बहुत बड़ा दर्जा दिया गया है। और हीरे को हमेशा संभाल कर रखा जाता है, ढांपकर रखा जाता है, इसलिये हमारे धर्र्मों में कहा गया है कि पर्दा यानी उस तरह के कपड़े पहनों, जिससे समाज में एक अच्छी वेवस आए, ये सभी के लिये हैं चाहे लड़का हो या लड़की हो।

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सवाल: आज के समय में लड़का और लड़की की मित्रता कितनी सही है?
जवाब: अगर आत्मिक मित्रता है तो हर जगह चाहे कोई भी रिश्ता क्यों न हो वो सही है। और अगर आत्मिक मित्रता खत्म हो जाती है और शारीरिक मित्रता आ जाती है तो गलत ही गलत है। हां पति पत्नी का रिश्ता जायज है। उसके अलावा अगर आप शारिरीक रिश्ता किसी के साथ बनाते हो तो वो बिलकुल गलत है।

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