हड़ताल पर जाएंगे प्रदेश के सरकारी डॉक्टर!
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11 को ओपीडी और 14 से इमरजेंसी सेवाएं करेंगे बंद
सच कहूँ/संजय मेहरा, गुरुग्राम। प्रदेश के सरकारी डॉक्टर एक बार फिर हड़ताल की तैयारी में हैं। स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज के आश्वासन पर 12 दिसम्बर 2021 को 13 व 14 दिसम्बर की हड़ताल स्थगित करने के बाद उनकी मांगों पर सरकार ने कोई प्रभावी कदम नहीं उठाया है। अगर जल्द ही मांगें पूरी नहीं की जाती हैं तो सभी सरकारी अस्पतालों के डॉक्टर 11 जनवरी को ओपीडी बंद करेंगे और 14 जनवरी से इमरजेंसी और पोस्टमार्टम सहित सेवाएं बंद करके हड़ताल पर चले जाएंगे।
इस बाबत हरियाणा सिविल मेडिकल सर्विसिज एसोसिएशन (एचसीएमएसए) के उपाध्यक्ष डा. एम.पी. सिंह ने बताया कि पूर्व के आश्वासन पर कोई ठोस कदम नहीं उठाए जाने के बाद स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज को ज्ञापन भेजा गया है। जिसमें कहा गया है कि पूर्व में हड़ताल के ठीक एक दिन पहले उनके द्वारा एसोसिएशन को मांगें 31 दिसम्बर 2021 तक पूरी करने का आश्वासन देकर 13 दिसम्बर सोमवार की हड़ताल को स्थगित करवा दिया गया था। करीब एक माह बीतने को है, लेकिन डॉक्टर्स की मांगों पर कुछ खास ध्यान नहीं दिया गया। सीधे एसएमओ भर्ती नहीं करने की फाइल पर हस्ताक्षर होने की सूचना एसोसिएशन को मिली है, लेकिन इसकी कोई अधिसूचना जारी नहीं की गई है।
एसो. ने 10 जनवरी तक का दिया समय
एसो. को उम्मीद थी कि नये साल तक सभी मांगों को पूरा कर दिया जाएगा। इसलिए मजबूर होकर एसोसिएशन ने बैठक करके आगामी रणनीति तय की है। जिसमें निर्णय लिया गया है कि अगर 10 जनवरी 2022 तक सभी मांगें पूरी नहीं होती हैं तो चिकित्सक मजबूर होकर 11 जनवरी से 14 जनवरी तक हड़ताल पर चले जाएंगे। इसे आगे भी बढ़ाया जा सकता है।
ये हैं चिकित्सकों की मांगें
चिकित्सकों की मांग है कि स्वास्थ्य विभाग में सीधे तौर पर की जा रही एसएमओ की भर्ती ना हो। पीजी पॉलिसी में बदलाव लाकर पहले की तरह हरियाणा सरकार के डॉक्टर्स को 40 प्रतिशत आरक्षण दिया जाए और प्रदेश में स्पेशलिस्ट चिकित्सकों का कैडर बनाया जाए। डाक्टर पीजी करने के बाद स्वास्थ्य विभाग में कार्यरत रहेंगे। मरीजों को और बेहतर सेवाएं देने व वर्क लोड कम करने के लिए अस्पतालों में डॉक्टर्स की कमी को दूर किया जाए।
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