मेहनत और संघर्ष है होंडा की सफलता का राज

Hard work and struggle are the secret of Honda's success
होंडा मोटर कंपनी की स्थापना सोइचिरो होंडा ने 24 सितंबर 1948 में जापान के शहर टोकियो में की थी। वे एक ऐसे इंसान से जिनको बचपन से ही गाड़ियों में मतलब ऑटोमोबाइल में बहुत ज्यादा रूचि थी। इसलिए वह अपने दोस्त के गैरेज में गाड़ियों को खुद बनाते थे और गाड़ियों की दौड़ में प्रवेश लेते थे। इसलिए उन्होंने आगे चलकर बड़े होने के बाद ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री में आने का फैसला किया। सोइचिरो होंडा ने अपने उच्च गुणवत्ता वाले पिस्टन के छल्लों का बड़े पैमाने पर उत्पादन करने के लिए टोकई सेकी नामक कंपनी शुरू की।
जिससे टोयोटा मोटर कंपनी ने टोकई सेकी नामक कंपनी का 40 प्रतिशत हिस्सा खरीद लिया। जिस कारण सोइचिरो और टोयोटा के अधिकारी एक स्थायी व्यापार संबंध बना सकते थे। (Soichiro Honda) लेकिन सोइचिरो पर मुसीबतों का पहाड़ तब टूट पड़ा जब जापान में चल रहे दूसरे महायुद्ध में उनके कंपनी के बड़े हिस्से को नुकसान हुआ। जिस कारण उनको अपना बचा हुआ हिस्सा टोयोटा कंपनी को मजबूरी में बेचना पड़ा था। लेकिन उन्होंने कभी हार नहीं मानी।
इस लिए उन्होंने साल 1946 में अटैच मोटरों के साथ कस्टमाइज्ड साइकिल बेचने के लिए होंडा टेक्निकल रिसर्च इंस्टीट्यूट की स्थापना की। जिसमे काम करने के लिए उनके पास सिर्फ 12 कर्मचारी थे। जिनकी मदद से उन्होंने फिर से काम करना शुरू कर दिया। जिससे आगे चलकर उन्होंने कुछ सालों बाद उन्होंने और उनके टीम ने मिलकर कंपनी की पहली मोटरसाइकिल बनाई थी। इस वाहन की कीमत बहुत कम रखी गई थी। जिस कारण होंडा कंपनी के इस वाहन की मांग बहुत बढ़ गई। जिससे कंपनी को बहुत फायदा हुआ। इस कारण होंडा कंपनी साल 1964 में दुनिया की सबसे बड़ी कार निमार्ता कंपनी बन गई। लेकिन सोइचिरो यहा तक भी नहीं रुके, बल्कि वो और आगे बढ़ते चले गए। इसमे उन्होंने टी-360 मिनी पिक उप ट्रक का भी निर्माण किया।
ऐसे ही उन्होंने आगे चलकर बहुत सारे उत्पाद का निर्माण किया और वो उसमे सफल भी हो गए। जैसे की उन्होंने अपनी होंडा कंपनी की पहली स्पोर्ट्स कार एस 500 का निर्माण किया। उसके बाद साल 1986 में कंपनी ने अपनी पहली लक्जरी कार अक्यूरा का निर्माण किया। ऐसे ही कई सारे उत्पाद (स्कूटर, इंजन, जनरेटर, मोटर्स और पंपों) का निर्माण किया और उनका सफलतापूर्वक उत्पादन शुरू किया। आज होंडा कंपनी दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी वाहन निर्माता कंपनी बन गयी है। साल 2012 में होंडा कंपनी का राजस्व 99 बिलियन अमरिकी डॉलर था।

अन्य अपडेट हासिल करने के लिए हमें Facebook और Twitter पर फॉलो करें।