गगनयान अभियान को मंत्रिमंडल की मंजूरी

Gaganaya campaign approves

पहले भारतीय मानव मिशन पर तीन एस्ट्रोनॉट भेजे जाएंगे

मोदी ने इसी साल स्वतंत्रता दिवस पर इस मिशन की घोषणा की थी

10 करोड़ रुपये की लागत का अनुमान

नई दिल्ली (एजेंसी)। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने अंतरिक्ष में देश के पहले मानव मिशन ‘गगनयान’ को मंजूरी दे दी है, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल के आर्थिक मामलों की समिति की गुरुवार रात हुई बैठक में इसकी मंजूरी दी गयी, इसके तहत तीन अंतरिक्ष यात्रियों को पृथ्वी की निचली कक्षा वाले अंतरिक्ष में भेजा जायेगा। पूरे अभियान पर 10 करोड़ रुपये की लागत का अनुमान है।

केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने शुक्रवार को संवाददाताओं को बताया कि वास्तविक मानव मिशन से पहले दो बार बिना मानव के मिशन को अंजाम दिया जायेगा जिनमें प्रक्षेपण यान, मॉड्यूल तथा अन्य सभी उपकरणों सहित पूरी प्रक्रिया वास्तविक मिशन की तरह ही होगी। अंतरिक्ष यात्रियों को लेकर जाने वाले मॉड्यूल और अन्य सभी उपकरणों को अंतरिक्ष में वांछित कक्षा तक पहुँचाने के लिए जीएसएलवी एम के-3 प्रक्षेपण यान का इस्तेमाल किया जायेगा।

बच्चों के यौन शोषण पर सजा-ए-मौत

नई दिल्ली (एजेंसी)। केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने बच्चों और किशोरों के साथ यौन शोषण के अपराधियों को सजा- -ए-मौत देने से संबंधित संशोधन को शुक्रवार को मंजूरी दे दी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में यहां हुई केन्द्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में पॉक्सो एक्ट, 2012 में संशोधन के प्रस्ताव को मंजूरी दी गयी। बच्चों और किशोरों को यौन अपराधों से बचाने के लिए 2012 में पॉक्सो कानून बनाया गया था।

इसमें 18 वर्ष से कम आयु के किशोर और बच्चे के खिलाफ यौन अपराध के दोषी को कड़ी सजा का प्रावधान किया गया था। देश में बच्चों के खिलाफ यौन अपराध की बढ़ती घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए उद्देश्य से यह संशोधन किया गया है। अपराधियों को सख्त सजा देने के लिए पॉक्को कानून 2012 की धारा 4, 5,6,9,14,15 और 42 में संशोधन किया गया है। धारा 4,5 और 6 में संशोधन कर अब यह प्रावधान किया गया है कि यौन शोषण के बर्बर मामलों में अब अपराधी को सजा-ए- मौत भी दी जा सकेगी।

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