लोकसभा चुनाव: 7वां चरण में हाई प्रोफाइल सीटों पर रोचक जंग देखने को मिल रही है
केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ की सीट पर भी मुकाबला हाई प्रोफाइल
गोरखपुर में दांव पर योगी की प्रतिष्ठा
लखनऊ/पटना/कोलकाता/चंडीगढ़। लोकसभा चुनाव के अंतिम चरण में 59 सीटों पर रविवार को होने वाले मतदान में भारतीय जनता पार्टी और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस के लिए अपने किले बचाने की चुनौती है। इन 59 सीटों में से भाजपा ने पिछले चुनाव में 33 सीटें जीती थीं। इनमें उत्तर प्रदेश की 13 में से 12, मध्यप्रदेश की सभी आठ और हिमाचल प्रदेश की सभी चार सीटें शामिल हैं। इस चरण की पश्चिम बंगाल की सभी नौ सीटों पर तृणमूल कांग्रेस का कब्जा है। भाजपा जहां बंगाल में तृणमूल कांग्रेस से सीटें छीनने की पुरजोर कोशिश कर रही है वहीं उसे उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी गठबंधन से तथा मध्य प्रदेश और हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस से अपनी सीटों को बचाने के लिए पसीना बहाना पड़ रहा है।
इस चरण में उत्तर भारत के हिमाचल प्रदेश और पंजाब से लेकर पश्चिम बंगाल तक में मतदान होना है। भले ही सीटों के लिहाज से यह राउंड बहुत अहम नहीं है, लेकिन इस चरण में कई हाईप्रोफाइल सीटों पर मुकाबला है। पूर्वी यूपी की वाराणासी, गोरखपुर और गाजीपुर जैसी हाई प्रोफाइल सीटों पर रोचक जंग देखने को मिल रही है, दूसरी तरफ अलावा पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी का गढ़ कहे जाने वाले इलाके की 9 लोकसभा सीटों पर मतदान होना है। यही वजह है कि चुनाव के आखिरी दौर में पूर्वांचल, बिहार से लेकर बंगाल तक में सरगर्मी बढ़ी है।
काशी में मोदी का जोर
आखिरी राउंड में उत्तर प्रदेश के पूर्वी हिस्से की जिन 13 सीटों पर मतदान होना है। उनमें से सभी सीटें 2014 के चुनाव में बीजेपी के खाते में आई थीं। हालांकि गोरखपुर उपचुनाव में बीजेपी के हाथ से फिसल गया था। ऐसे में इस राउंड में एसपी-बीएसपी महागठबंधन के सामने दोबारा अपनी पकड़ मजबूत करने की चुनौती है तो दूसरी तरफ बीजेपी के लिए अपना वर्चस्व बरकरार रखना मुश्किल होगा।
किसके साथ लगेगी पंजाब की बाजी
पंजाब पर भी होंगी जहां अंतिम चरण में राज्य की सभी 13 सीटों पर मतदान होगा। पिछले चुनाव में भाजपा को दो तथा उसकी सहयोगी अकाली दल को चार सीटें मिली थीं जबकि आम आदमी पार्टी को चार तथा कांग्रेस को दो सीटें मिली थीं। पिछले चुनाव के मुकाबले इस बार राजनीतिक समीकरण बदले हुए हैं। अब राज्य में कांग्रेस की सरकार है तथा आप में टूट फूट हो चुकी है। पंजाब से लगे हिमाचल प्रदेश की सभी चार सीटों पर रविवार को वोट डाले जाएंगे। इन सभी सीटों पर पिछली बार भाजपा ने कब्जा किया था।
हिमाचल: दो सीटों पर आसान फाइट, दो पर टाइट
पहाड़ी राज्य हिमाचल की 4 सीटों पर भी आखिरी राउंड में मतदान होने जा रहा है। 2014 में सूबे की सभी 4 सीटें बीजेपी के खाते में गई थी। इस बार बीजेपी के लिए अनुराग ठाकुर की सीट हमीरपुर में मुकाबला आसान दिख रहा है। मंडी सीट पर कांग्रेस ने बीजेपी के रामस्वरूप शर्मा के मुकाबले पंडित सुखराम के पोते आश्रय को उतारा है। हालांकि शर्मा के लिए यह मुकाबला आसान माना जा रहा है। कांगड़ा एवं शिमला सीटों पर कांग्रेस की ओर से बीजेपी कड़ी टक्कर मिल सकती है।
हाईप्रोफाइल है चंडीगढ़ की चुनावी जंग
केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ की सीट पर भी मुकाबला हाई प्रोफाइल है। यहां मौजूदा बीजेपी सांसद किरण खेर एक बार फिर से समर में हैं, जबकि कांग्रेस से पूर्व रेल मंत्री पवन कुमार बंसल उन्हें टक्कर दे रहे हैं।
प्रियंका के प्रचार से मुकाबला हुआ रोचक
उत्तर प्रदेश में जिन 13 सीटों पर अंतिम चरण में वोट डाले जाने हैं उनमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वाराणसी सीट शामिल है। उनका यहां कांग्रेस के अजय राय और गठबंधन की शालिनी यादव से मुकाबला है। इस चरण की मिजार्पुर को छोड़कर सभी सीटों पर भाजपा जीती थी। मिजार्पुर सीट पर उसकी सहयोगी अपना दल का कब्जा है। कांग्रेस की महासचिव और स्टार प्रचारक प्रियंका गांधी के इस क्षेत्र में जमकर प्रचार करने से इन सीटों पर मुकाबला रोचक बन गया है।
कौन जीतेगा बंगाल की ‘आखिरी’ लड़ाई?
पश्चिम बंगाल में आखिरी राउंड की वोटिंग में काफी उबाल देखने को मिला है। बीजेपी चीफ अमित शाह की रैली के दौरान हिंसा के चलते आयोग ने चुनाव प्रचार को एक दिन पहले ही समाप्त कर दिया है। यहां जिन 9 सीटों पर चुनाव होना है, वे सीएम ममता बनर्जी का गढ़ मानी जाती हैं। यही वजह है कि अपने किले को बचाने के लिए वह खासी आक्रामक हैं और दूसरी तरफ बीजेपी ने भी पूरा जोर लगा रखा है। 2014 में इन 9 सीटों में से 3 पर बीजेपी दूसरे नंबर थी, इसलिए उसे इस बार जीत की किरण दिख रही है। लास्ट राउंड में दमदम, बारासात, बसीरहाट, जयनगर, मथुरापुर, डायमंड हार्बर, जाधवपुर, कोलकाता साउथ, कोलकाता नॉर्थ सीटों पर मतदान होगा।
बिहार में पटना से आरा तक सबकी नजर
अंतिम चरण में बिहार की आठ सीटों में पांच पर भाजपा का कब्जा है। इनमें पटना साहिब, पाटिलपुत्र, नालंदा, सासाराम और आरा जैसी महत्वपूर्ण सीटें शामिल हैं। फिल्म अभिनेता शत्रुघ्न सिन्हा पटना साहिब से हैट्रिक लगाने के प्रयास में है लेकिन अंतर यह है कि इस बार वह भाजपा की बजाय कांग्रेस के उम्मीदवार हैं और उनका मुकाबला भाजपा के रविशंकर प्रसाद से है। आरा में केंद्रीय मंत्री आर के सिंह का माकपा माले के राजू यादव से मुकाबला है वहीं सासाराम से लोकसभा की पूर्व अध्यक्ष मीराकुमार कांग्रेस की ओर से मैदान में है।
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