धर्म का कांटा : Scale of Religion
धर्म का कांटा: सुबह का उजाला सुरभि के मन में बहुत सा स्नेह, सम्मान, अपनापन ले कर आया। वह फ्रैश होकर बैठी ही थी कि आलोक भी उठ गया। आलोक उस के कंधे का सहारा लेकर बाथरूम तक गया।
कोरोना का कहर
कुछ दिन की बात है प्यारो, रह लो एक दूसरे से दूर , आओ मिलकर पूरे विश्व को ऐसा कुछ कर दिखलाये।
कोरोना पीड़ित
पिंकी ये, पिंकी वो, डोंट नो कैसे झेलती हो ऐसे पति को। मैं चुप रही, झेलती तो हूं, लेकिन केवल उन्हें नहीं तुम सबको भी साथ में। चश्मा पति को दे फिर कॉफी बनाने की लिए जाने लगी तो पति ने उसे अपने पास बैठा लिया,थोड़े देर पास बैठो, अब घर पर हूं तो पास भी नहीं आओगी।