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बसों की कमी के चलते 8 गांवों की छात्राओं की पढ़ाई हो रही है बाधित : लेघां
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कमी के चलते छात्राएं बसों की खिड़की में लटक कर जा रही है स्कूल
भिवानी (सच कहूँ ब्यूरो)। सरकार का बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ का नारा ग्रामीण क्षेत्रों में बसों की व्यवस्था सुचारू ना होने की स्थिति में दम तोड़ रहा है। बसों की मांग को लेकर ग्रामीण व छात्राएं कई बार सड़कों पर उतरकर सरकार व प्रशासन को चेताने का काम भी कर चुके है, लेकिन फिर भी स्थिति ज्यो की त्यो है। इसी कड़ी में एक बार फिर से समाजसेवी ललित लेघां के नेतृत्व में गांव लेघां के ग्रामीणों ने भिवानी-बहल रूट पर छात्राओं के लिए स्पेशल बस चलाए जाने की मांग को लेकर शुक्रवार को रोड़वेज जीएम को मांगपत्र सौंपा। इस दौरान उन्होंने भिवानी-बहल रूट पर चलाई जाने वाली बसों का समय भी बताया, ताकि छात्राओं को परेशानियों का सामना ना करना पड़े। उन्होंने कहा कि भिवानी-बहल रूट पर पड़ने वाले गांव जीतवाणबास, लेघां, हेतमपुरा, टिटाणी, केहरपुरा, कुसुंभी, मालवास कोहाड़, मालवास देवसर 8 गांवों की छात्राएं बसों की समस्या से जूझ रहे है, जिसके चलते छात्राओं की पढ़ाई प्रभावित हो रही है।
मांग पत्र सौंपते हुए समाजसेवी ललित लेघां ने कहा कि इस रूट पर पहले भी कुछ बसें लगाई गई थी, जिसे बाद में बंद कर दिया गया था, लेकिन बीते 12 अगस्त को गांव लेघां में तिरंगा यात्रा के दौरान रोड़वेज जीएम ने बस चलाए जाने का आश्वासन दिया था। शुक्रवार को वे जीएम को फिर से मांग पत्र सौंपने पहुंचे है। उन्होंने कहा कि बसों की कमी के चलते छात्राओं को रोजाना भारी भीड़ व धक्का-मुक्की का सामना करते हुए शिक्षण संस्थानों तक पहुंचना पड़ता है। कई बार तो ऐसी समस्या बन जाती है कि छात्राओं को बस के गेट पर ही लटक कर शिक्षण संस्थानों तक पहुंचना पड़ता है। उन्होंने मांग की कि भिवानी-बहल रूट पर छात्राओं के लिए स्पेशल बस चलने से गांव जीतवाणबास, लेघां, हेतमपुरा, टिटाणी, केहरपुरा, कुसुंभी, मालवास कोहाड़, मालवास देवसर की छात्राओं को फायदा होगा। ग्रामीणों की समस्या सुनने के बाद जीएम ने आश्वासन दिया कि एक सितंबर से इस रूट पर बस सुविधा सुचारू रूप से शुरू कर दी जाएगी। इस अवसर पर अनेक ग्रामीण एवं युवा मौजूद रहे।
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