सावधान! शॉर्ट कट के चक्कर में न बन जाएं धोखेबाजों के शिकार

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इंश्योरेंस पॉलिसी की शिकायतें सुलझाने के नाम पर करते थे ठगी

(Insurance Policy Fraud)

  • आरोपियों से 14 लाख कैश एवं 21 मोबाइल फोन और सिम कार्ड बरामद

सच कहूँ/राजेन्द्र दहिया फरीदाबाद। फरीदाबाद पुलिस ने इंश्योरेंस पॉलिसी से संबंधित शिकायतें सुलझाने के नाम पर भोले-भाले लोगों की खून-पसीने की कमाई को धोखे से हड़पने वाले एक गिरोह के दो आरोपियों को गिरफ्तार करके उनके पास से 14 लाख रूपए नगद, 21 मोबाइल फोन व सिम कार्ड बरामद किए है। आरोपियों ने बकायदा कॉल सेंटर बनाकर लड़कियां रखी हुई थी, जो लोगों को कॉल करके पॉलिसी से संबंधित शिकायत सुनने/ समाधान के नाम पर उन्हें अपनी झांसे में लेती थी।

गिरोह के दो आरोपी गिरफ्तार

डीसीपी मुख्यालय डॉ. अर्पित जैन ने बुधवार को अपने कार्यालय में पत्रकार वार्ता के दौरान जानकारी देते हुए बताया कि साइबर पुलिस ने पूर्ण हो चुकी लाइफ इंश्योरेंस पालिसी को पुन: चालू करवाने के नाम पर कम समय में लाखों का मुनाफा दिलाने का प्रलोभन देने वाले साइबर अपराधी गिरोह का भंडाफोड़ किया है। पकड़े गए आरोपियों की पहचान मो. इकबाल निवासी जगननाथपुर जिला मुजफ्फर बिहार, हाल निवासी ऋषि नगर रानी बाग (दिल्ली) व आरोपी विनोद कुमार निवासी बादशाहपुर थाना मछली शहर उत्तर प्रदेश हाल निवासी मनसा राम पार्क उत्तम (नगर दिल्ली) को गिरफ्तार कर 4 दिन की पुलिस रिमांड पर लिया गया था।

पहले पीड़ित को टरकाया, फिर फोन उठाना किया बंद

उन्होंने बताया कि फरीदाबाद पुलिस द्वारा पकड़े गए जालसाजों ने इसी तरह खुद को मैक्स लाइफ इंश्योरेंस कर्मी बतलाकर पीड़ित यशपाल निवासी फरीदाबाद को झूठे प्रलोभन देकर अपने झांसे में ले लिया और उसकी पालिसी, जो वर्ष 2018 में पूरी हो गई थी, को पुन: चालू करने का झांसा देकर अलग-अलग समय पर अपने भिन्न भिन्न बैंकों के 6 फर्जी बैंक खातों में 22,63,226/- रुपए धोखाधड़ी से हासिल कर लिए, जब पीड़ित को बताई गई समय अवधि समाप्त हो गई और पीड़ित ने अपने पैसों को लौटने के लिए कहा तो जालसाज कभी लॉकडाउन का बहाना तो कभी फॉर्मेलिटी पूरी करने की बात कहकर बात को टाल देते और बाद में पीड़ित का फोन उठाना भी बंद कर दिया।

लड़कियों से करवाते थे फोन

पूछताछ पर आरोपियों ने बताया कि वे लड़कियों से फोन कराते थे ताकि लोग सहज ही विश्वास करें। वह किसी भी फोन की एक सीरिज को सलेक्ट करते थे ओर लास्ट नम्बर बदल-बदल कर अलग-अलग लोगों को फोन करते थे। फोन उठाने वाले लोगों को कहते थे कि वह लाईफ इंश्योरेंस की शिकायत शाखा से बोल रही हैं, अगर उनकी कोई भी पॉलिसी या किस्त टूट गया है या उन्होंने किस्त भरनी छोड़ दी है या फिर पूर्ण हो गई है और अब कोई प्रॉब्लम आ रही है तो आप इस बारे में जानकारी दें। फोन करने वाली लड़कियां लोगों को उपरोक्त आरोपियों के नम्बर दे देती थी।

ऐसे लेते थे झांसे में

आरोपी लोगों से फोन कर उनकी इंश्योरेंस कंपनी के बारे में पूछते अगर कंपनी मैक्स लाईफ की होती तो उनको इंश्योरेंस प्लान के बारे में बताते और उनको कम समय में ज्यादा फायदे का प्रलोभन देकर अपने अलग-अलग खातों में पैसा डलवा लेते थे।

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