कोलकाता (एजेंसी)। पश्चिम बंगाल विधानसभा में विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी को मंगलवार को मुख्यमंत्री के सरकारी दफ्तर नबन्ना मार्च (BJP Nabanna March) के दौरान पुलिस से हुई झड़प के मामले में हिरासत में ले लिया गया। सूत्रों ने बताया कि भाजपा कार्यकर्ताओं ने सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के बड़े पैमाने पर ‘भ्रष्टाचार’ के विरोध में नबन्ना चलो अभियान शुरू किया। इस दौरान पुलिस ने उन्हें रोकने के लिए हेस्टिंग्स के पास भारी बैरिकेड लगाए। अपनी यात्रा में विघ्न पड़ता देख, विपक्षी कार्यकतार्ओं और पुलिस के बीच झड़प हो गई, जिससे पुलिस टीम ने भाजपा कार्यकर्ताओं पर आंसू गोले छोड़ दिए और इसके साथ ही सुवेन्दु को हावड़ा जिले के सतरागाछी पहुंचने से पहले ही हिरासत में ले लिया गया।
भाजपा नेता अधिकारी ने ट्विटर पर एक वीडियो साझा किया, जिसमें उन्होंने अपने पार्टी के कार्यकतार्ओं पर पुलिस द्वारा किए गए कथित अत्याचारों को दिखाया है। उन्होंने पुलिस पर आरोप लगाते हुए कहा कि वे भारत के संविधान के अनुच्छेद 19 द्वारा सुनिश्चित नागरिकों के मौलिक अधिकारों को छीन रहे हैं। भारत के पूरे क्षेत्र में स्वतंत्र रूप से घूमने के लिए शांतिपूर्वक इकट्ठा होने के लिए लोग विरोध कर रहे हैं। प्रदर्शन के दौरान वहां पर खड़ी पुलिस वैन को आग के हवाले कर दिया गया।
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क्या है मामला:
अधिकारी ने ट्वीट किया, ‘हमारे कार्यकर्ता शांतिपूर्वक सत्तारूढ़ सरकार के भ्रष्टाचार के खिलाफ विरोधी यात्री निकाल रहे हैं लेकिन तृणमूल पार्टी के कार्यकर्ता तानाशाही रणनीति का सहारा लेकर, हमारे कार्यकतार्ओं को कोलकाता जाने वाली ट्रेन में चढ़ने से रोक रहे हैं। नबन्ना पहुंचने से रोकने के लिए टीएमसी अपने ‘फ्रंट आॅर्गनाइजेशन’ पश्चिम बंगाल पुलिस का इस्तेमाल कर रही है। उन्होंने कहा, ‘पश्चिम बंगाल उत्तर कोरिया बन गया है। सुश्री ममता बनर्जी ‘लोकतंत्र की लहर’ के लिए कोई दीवार नहीं खड़ी हो सकती है, इसे जल्द से जल्द भंग कर दिया जाना चाहिए। इसी दौरान भाजपा नेता रूपा गांगुली ने कहा, ‘पुलिस को प्रदर्शनकारियों को रैली के दौरान कानून-व्यवस्था बनाए रखने में मदद करनी चाहिए, न कि उन्हें रोकना चाहिए।
उन्होंने कहा कि पुलिसकर्मियों ने हावड़ा ब्रिज (रवींद्र सेतु) पर बैरिकेड्स की एक श्रृंखला लगाई, जहां से राज्य इकाई के पूर्व अध्यक्ष दिलीप घोष नबन्ना के रास्ते में एक रैली का नेतृत्व करने वाले हैं। राज्य इकाई के पूर्व अध्यक्ष दिलीप घोष ने ट्वीट किया, ‘झारग्राम थाना के प्रभारी निरीक्षक बिप्लब करमाकर को भाजपा बंगाल कार्यकतार्ओं को डराने और उन्हें कोलकाता न जाने पर मजबूर कर रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि करमाकर ने सिविल कपड़ों में सर्विस रिवॉल्वर को लहराते हुए, नबन्ना मार्च में भाजपा कार्यकतार्ओं के शामिल होने पर उन्हें धमकी दी।
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