पुलिस के पहरे में बांटी यूरिया
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फसल बचाने के लिए कर रहे जद्दोजहद
पिल्लूखेड़ा (सच कहूँ/चाँद)। बुधवार को पिल्लूृखेड़ा खंड में यूरिया खाद की कमी के चलते खंड के किसानों ने पिल्लूखेड़ा थाने के आगे जींद-सफीदों मार्ग पर जाम लगा दिया। इस दौरान वाहनों की लंबी-लंबी कतारें लग गईं। जाम की सूचना के बाद पिल्लूखेड़ा पुलिस ने किसानों को समझा बुझाकर शांत कर जाम को खुलवाया।
बुधवार को अनाज मंडी में हजारों किसानों की लंबी लाइनें खाद की दुकानों के आगे जुटी। लेकिन इतनी भीड़ को खाद बांटना आसान नहीं था तो कृषि विभाग ने पिल्लूखेड़ा थाने में पर्चियां काटनी शुरू कर दीं। पिल्लूखेड़ा पुलिस ने भी इस दौरान किसानों की लाइनें लगवाने में सहयोग किया। किसानों को खाद की कमी रास नहीं आई तो उन्होंने जींद-सफीदों मार्ग पर जाम लगा दिया। किसानों ने सरकार से प्रर्याप्त मात्रा में यूरिया खाद की मांग की है। किसानों का कहना था कि बरसात के बाद गेहूं की बढ़ोत्तरी के लिए यूरिया खाद की बहुत आवश्यकता है, लेकिन पिल्लूखेड़ा में यूरिया खाद बहुत कम मात्रा में आ रहा है। इतना ही नहीं, यूरिया खाद के लिए महिलाएं व लड़कियां भी लाइनों में लगने को मजबूर हो चुकी हैं।
कोरोना नियमों की उड़ी धज्जियां
पिल्लूखेड़़ा खंड में बुधवार को पिल्लूखेड़ा अनाज मंडी व पिल्लूखेड़ा थाने में यूरिया खाद को लेकर पहुंचे किसानों को कोरोना की कोई चिंता नहीं थी, उन्हें तो चिंता है कि हर हाल में केवल यूरिया खाद उपलब्ध हो। बुधवार को हजारों किसानों की तादाद में किसान बिना मास्क व बिना सोशल डिस्टैंस के ही यूरिया खाद लेने के लिए लाइनों में लगे रहे। खाद को लेकर खूब धक्का-मुक्की भी हुई। इस दौरान कई किसान बुखार से पीड़ित थे, जिससे कोरोना का खतरा और बढ़ जाता है।
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