नई दिल्ली। Adani Group Stocks Update: मंगलवार के कारोबार में अडानी एंटरप्राइजेज लिमिटेड, अडानी टोटल गैस लिमिटेड, अडानी पावर लिमिटेड, अडानी ग्रीन एनर्जी लिमिटेड और अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस लिमिटेड जैसे अडानी समूह के शेयरों में देखी गई रैली ने गौतम अडानी के नेतृत्व वाले अदानी समूह के बाजार पूंजीकरण को बढ़ा दिया। 11 लाख करोड़ रुपये के करीब। समूह ने अपने एम-कैप में 66,945.94 करोड़ रुपये की बढ़ोतरी देखी, क्योंकि सुप्रीम कोर्ट ने मामले में कई याचिकाओं की सुनवाई के बाद अडानी-हिंडनबर्ग मामले में आदेश सुरक्षित रख लिया था।
समूह के शेयरों में 15 प्रतिशत तक की बढ़ोतरी हुई, क्योंकि शीर्ष अदालत ने कहा कि हिंडनबर्ग रिसर्च रिपोर्ट को सत्य के बयान के रूप में नहीं माना जाना चाहिए। भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की अगुवाई वाली पीठ ने सुझाव दिया कि अदालत केवल मीडिया रिपोर्टों पर भरोसा करके मामले में बाजार नियामक सेबी की जांच पर संदेह नहीं कर सकती है, लेकिन कहा कि बाजार नियामक सेबी को सभी 24 मामलों में जांच पूरी करनी होगी। इससे पहले 25 अगस्त को अपनी स्थिति रिपोर्ट में सेबी ने कहा था कि उसने 24 में से 22 मामलों में अपनी जांच पूरी कर ली है। सेबी ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि वह अडानी-हिंडनबर्ग मामले में अपनी जांच पूरी करने के लिए और कोई समयसीमा नहीं मांगेगा।
सुबह 10.10 बजे, अडानी एंटरप्राइजेज के शेयर 6.42 प्रतिशत बढ़कर 2,373.65 रुपये पर थे। अडानी पोर्ट्स एंड एसईजेड 3.57 प्रतिशत बढ़कर 824.80 रुपये पर पहुंच गया। अडानी पावर 7.84 प्रतिशत उछलकर 428 रुपये पर पहुंच गया, जबकि अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस 11.83 प्रतिशत बढ़कर 815.50 रुपये पर पहुंच गया।
अडानी ग्रीन एनर्जी 7.36 फीसदी की तेजी के साथ 1,006.40 रुपये पर पहुंच गया। अडानी विल्मर में 5.4 फीसदी की बढ़ोतरी हुई जबकि सीमेंट शेयरों में एसीसी और अंबुजा सीमेंट्स में 3.5 फीसदी की बढ़ोतरी हुई। एनडीटीवी 5.35 प्रतिशत बढ़कर 216.50 रुपये पर पहुंच गया।
मंगलवार के कारोबार में अडानी समूह का एम-कैप 10,94,060.61 करोड़ रुपये रहा, जो शुक्रवार को 10,27,114.67 करोड़ रुपये था। एम-कैप 24 जनवरी के एम-कैप 19,19,888.44 करोड़ रुपये से 43 फीसदी कम है। यही वह दिन था जब अमेरिका स्थित शॉर्ट सेलर हिंडनबर्ग रिसर्च ने आरोप लगाया था कि समूह स्टॉक हेरफेर और लेखांकन धोखाधड़ी में लिप्त था।
शुक्रवार को चंद्रचूड़ ने सेबी से पूछा कि वह निवेशकों के मूल्य पर क्या कर रहा है और क्या वह उनकी सुरक्षा सुनिश्चित कर रहा है। इस पर सेबी के वकील सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि ऐसे मामले पाए जाने पर शॉर्ट-सेलर्स के खिलाफ कार्रवाई की गई है।