टेस्ट खेलने के लिए भारत में आने वाली टीमों को मैदानों के बारे में पहले से जानकारी होनी चाहिए- कोहली (Virat Kohli)
- आमतौर पर ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड में टेस्ट सीरीज के लिए 6 चुनिंदा मैदानों का इस्तेमाल किया जाता है
खेल डेस्क। रांची स्टेडियम में 39 हजार दर्शक संख्या होने के बावजूद महज 1500 टिकट बिकने पर टीम इंडिया के कप्तान विराट कोहली ने निराशा जताई है। कोहली ने सुझाव दिया कि टेस्ट क्रिकेट को जिंदा रखने और रोमांचक बनाए रखने के लिए 5 स्थाई मैदान होने चाहिए। जैसे कि इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया में होते हैं। इन देशों में बड़ी टेस्ट श्रृंखला के लिए 6 मैदानों का ही इस्तेमाल किया जाता है।
ऑस्ट्रेलिया में मेलबर्न, सिडनी, पर्थ, ब्रिस्बेन और एडिलेड में बड़ी टीमें सीरीज के मैच खेलती हैं। ऐसा ही इंग्लैंड में भी है। वहां लॉर्ड्स, ओवल, ट्रेंट ब्रिज, ओल्ड ट्रैफर्ड, एजबेस्टन, साउथम्पटन और हेडिंग्ले में ऑस्ट्रेलिया और भारत जैसी टीमों के मैच होते हैं।
‘टी-20 और वनडे के लिए रोटेशन नीति सही’
बीसीसीआई तीनों फॉर्मेट में रोटेशन नीति के अनुसार मैच के लिए स्थान तय करती है। देश में 15 से ज्यादा टेस्ट सेंटर हैं। कोहली ने कहा, “मैं राज्य संघों, रोटेशन और सब बातों से सहमत हूं। यह वनडे और टी-20 क्रिकेट के लिए सही है। बात जब टेस्ट क्रिकेट की आती है तो भारत में आने वाली टीमों को पता होना चाहिए कि वे इन पांच मैदानों पर खेलने जा रही हैं। जब हम कहीं खेलने जाते हैं तो हमें पता होता है कि हम इन स्थानों पर खेलने जा रहे हैं।”
तीसरे टेस्ट में भारत ने दक्षिण अफ्रीका को पारी और 202 रन से हरा दिया। इस जीत के साथ टीम इंडिया ने सीरीज 3-0 से अपने नाम कर ली। भारत पहली बार दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ किसी टेस्ट सीरीज के सारे मैच जीतने में सफल रहा। भारत ने सीरीज के पहले टेस्ट में दक्षिण अफ्रीका को 203 रन और दूसरे टेस्ट में एक पारी और 137 रन से हराया था।
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