श्रीनगर (एजेंसी)। जम्मू-कश्मीर विधानसभा (Jammu and Kashmir Assembly) में सोमवार को पीपुल्स डेमोक्रेटिक् पार्टी (पीडीपी) के विधायक वहीद-उर-रहमान पारा की ओर से संविधान के अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के खिलाफ प्रस्ताव पारित करने की मांग किए जाने के बाद जमकर हंगामा हुआ। सदन की कार्यवाही के पहले दिन विधानसभा अध्यक्ष के चुनाव के बाद सदन में बोलते हुए पारा ने जम्मू-कश्मीर से संबंधित अनुच्छेद 370 को बहाल करने की मांग करते हुए प्रस्ताव पारित करने का अनुरोध किया। Jammu and Kashmir
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उन्होंने पीडीपी का प्रस्ताव अध्यक्ष को सौंपते हुए कहा, ‘‘मैं विधानसभा से अनुच्छेद 370 की बहाली के लिए प्रस्ताव पारित करने का अनुरोध करता हूँ।’’ इसके बाद भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक सदन में खड़े हो गए और अध्यक्ष से वहीद के शब्दों को सदन की कार्यवाही से हटाने का आग्रह किया। अध्यक्ष अब्दुल रहीम राथर ने हालांकि भाजपा नेताओं को सलाह दी कि वे इसे उन पर छोड़ दें। उन्होंने कहा, ‘‘आप अध्यक्ष को शर्तें नहीं बता सकते।’’ इसके बाद भाजपा विधायक हंगामा करने लगे।
विधानसभा अध्यक्ष ने हालांकि सदस्यों को शांत कराने की कोशिश की, लेकिन विधायक हंगामा करते रहे। इस मुद्दे पर बोलते हुए मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘उन्हें पता था कि कुछ सदस्य प्रस्ताव पेश करेंगे, लेकिन उन्हें उम्मीद नहीं थी कि सत्र के पहले दिन ऐसा होगा।’’ हंगामा देख विधानसभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही 10 मिनट के लिए स्थगित कर दी। Jammu and Kashmir
रहीम राथर बने जम्मू-कश्मीर विधानसभा के अध्यक्ष | Jammu and Kashmir
नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता एवं पूर्व वित्त मंत्री अब्दुल रहीम राथर सोमवार को जम्मू-कश्मीर विधानसभा के अध्यक्ष चुने गए। कृषि उत्पादन, ग्रामीण विकास, पंचायती राज, सहकारिता एवं निर्वाचन मंत्री ने विधानसभा में राथर के नाम का प्रस्ताव पेश किया और सदन के सदस्य अर्जुन सिंह ने राथर को अध्यक्ष के चुने जाने का समर्थन किया।
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सात बार के विधायक राथर का जन्म 1944 में चाडूरा के बांदीपोरा गांव में हुआ था और वह बडगाम जिले के चरार-ए-शरीफ विधानसभा क्षेत्र से जम्मू-कश्मीर नेशनल कॉन्फ्रेंस पार्टी का प्रतिनिधित्व करते हैं। उन्होंने पिछली नेशनल कॉन्फ्रेंस सरकारों में वित्त सहित कई महत्वपूर्ण मंत्रालयों का कार्यभार संभाला था। उन्होंने 1968 में कश्मीर विश्वविद्यालय से राजनीति विज्ञान में स्रातकोत्तर की पढ़ाई पूरी की और 1971 में अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में एल.एल.बी. किया।
सरकार पूर्ण राज्य का दर्जा बहाल करने के लिए हरसंभव प्रयास करेगी: सिन्हा
जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सोमवार को कहा कि जम्मू-कश्मीर सरकार राज्य को पूर्ण राज्य का दर्जा और संवैधानिक गारंटी बहाल करने के लिए हरसंभव प्रयास करेगी। सिन्हा ने कहा कि जम्मू-कश्मीर को राज्य का दर्जा बहाल करने के लिए लोगों की आकांक्षाएं प्रबल हैं।
अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 को निरस्त करने और जम्मू-कश्मीर को केंद्र शासित प्रदेश के रूप में पुनर्गठित करने के बाद जम्मू-कश्मीर विधानसभा के पहले सत्र को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि सदस्य एक दशक से अधिक समय में पहले लोकतांत्रिक चुनाव के सफल और शांतिपूर्ण आयोजन के बाद यहां एकत्र हुए हैं। उन्होंने कहा कि अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 को निरस्त करने और जम्मू-कश्मीर को केंद्र शासित प्रदेश के रूप में पुनर्गठित करने के बाद ये चुनाव, राजनीतिक अनिश्चितता की अवधि के बाद लोकतांत्रिक शासन को बहाल करने में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर हैं। Jammu and Kashmir
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