चेयरमैन ने जैतपुर व ओमीक्रॉन वन ए स्थित गंगाजल प्लांट का किया मुआयना
- टैंक से बोतल में पानी भरकर स्वच्छता को परखा, प्लांट को हरा-भरा बनाने के निर्देश
नोएडा (सच कहूँ न्यूज)। उत्तर प्रदेश के औद्योगिक विकास आयुक्त और नोएडा ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के चेयरमैन मनोज कुमार सिंह ने शनिवार को ग्रेटर नोएडा (Greater Noida) की गंगाजल परियोजना का मुआयना किया। चेयरमैन ने राजकीय निर्माण निगम व संबंधित कांट्रैक्टर को 4 माह में गंगाजल परियोजना को पूर्ण करने का लक्ष्य दिया है। इस अवधि में काम पूरा न कर पाने पर कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी। चेयरमैन ने कार्यों को पूरा करने का शेड्यूल भी मांगा।
ग्रेटर नोएडा में 85 क्यूसेक गंगाजल परियोजना का शुभारंभ 01 नवंबर 2022 को किया गया। 800 करोड़ रुपए से अधिक लागत की इस परियोजना को राजकीय निर्माण निगम देख रहा है।
अब तक परियोजना पूर्ण नहीं हो सकी है।
ग्रेटर नोएडा (Greater Noida) प्राधिकरण के सीईओ रितु माहेश्वरी इस परियोजना को शीघ्र पूर्ण कराने के लिए राजकीय निर्माण निगम के साथ कई दौर की बैठकें कर चुकी हैं। शनिवार को उत्तर प्रदेश औद्योगिक विकास आयुक्त और ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के चेयरमैन मनोज कुमार सिंह भी गंगा जल परियोजना का मुआयना करने ग्रेटर नोएडा पहुंचे।
उन्होंने सीईओ रितु माहेश्वरी व एसीईओ मेधा रूपम के साथ प्राधिकरण के जल विभाग और राजकीय निर्माण निगम के अधिकारियों तथा कॉन्ट्रैक्टर के साथ बैठक कर इस परियोजना की पूरी जानकारी ली।
इसके बाद ग्रेटर नोएडा के जैतपुर स्थित मास्टर रिजर्वायर का मुआयना किया।
चेयरमैन मास्टर रिजर्वायर में पानी की उपलब्धता की जानकारी प्राप्त की। इसके बाद कंट्रोल रूम गए और वहां गंगाजल से जुड़े डाटा का एनालिसिस किया।
उन्होंने मास्टर रिजर्वायर की तरह ही एरिया के जवाब में भी फ्लो मीटर लगाने के निर्देश दिए ताकि पानी की उपलब्धता के बारे में सही जानकारी प्राप्त हो सके।
इसके बाद चेयरमैन सेक्टर ओमीक्रोन 1ए स्थित एरिया रिजर्वायर प्लांट तक गए।
चेयरमैन ने राजकीय निर्माण निगम को इस परिसर को शीघ्र विकसित करने के निर्देश दिए।
इसे हरा-भरा बनाने को कहा है। चेयरमैन ने पानी की स्वच्छता को भी परखा और उस पर संतोष जाहिर किया।
चेयरमैन ने गंगा जल (Gangajal) आपूर्ति के लिए डाली गई लाइनों की जांच कराकर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। उन्होंने इन पाइपों का फुल प्रेशर पर परीक्षण करने को भी कहा है। मौके पर मौजूद राष्ट्रीय निर्माण निगम के अधिकारियों और कांट्रेक्टर को 4 माह में गंगा जल परियोजना को पूर्ण करने का लक्ष्य दिया है।
इसे अंतिम अवसर बताते हुए कार्य पूरा न करने पर कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी।