बरनावा (सच कहूँ न्यूज)। ्रपूज्य गुरु संत डॉ. गुरमीत राम रहीम सिंह जी इन्सां फरमाते हैं कि मालिक का नाम, सुखो की खान है, पर कैसे, आम आदमी सोचता है, मैं क्यों जपूं प्रभु का नाम, मेरे पास गाड़ियां है, बच्चे हैं, घर है, अच्छा असर है, खाने का सबकुछ है, क्यों, क्या फायदा है राम-नाम का, क्योंकि आज का इन्सान फायदे के बिना कुछ बोलना नहीं चाहता और फायदे के बिना कुछ बताना नहीं चाहता। फायदे के बिना चलना नहीं चाहता और फायदे के बिना, कर्इं तो ऐसे हैं कि सोना भी नहीं चाहता, उसमें भी फायदा हो तो कहता सौ लेते हैं। हालांकि सौने में फायदा ही फायदा है। आदमी सोचता है, कि अगर मैं राम का नाम लूं तो मुझे पता चले उससे क्या फायदा है।
बहुत सारे फायदे हंै, शुरूआत, आपके अनुसार करते हैं, क्या फायदा, क्या बिजनेस में फायदा हो, राम-नाम से, जी फायदा हो, कैसे, कोई भी बिजनेस, कोई भी व्यापार, तब बुलंदियों में पहुंच जाता है, जब आदमी के अंदर हौसले बुलंद होते हैं। जब आदमी के अंदर आत्मबल विल पॉवर होता है, तो हर बिजनेस में हर व्यापार में अच्छे आइडिया तब आ जाते हैं, तो उनको लागू करने के लिए हिम्मत होनी चाहिए। एक आत्मबल होना चाहिए, वो आइडिया जैसे-जैसे लागू होते जाएंगे, बिजनेस व्यापार बढ़ता चला जाएगा।
आत्मबल होगा, बुलंद हौंसले होंगे, तो आप बिजनेस में तरक्की कर पाएंगे
पूज्य गुरु जी ने फरमाया कि आत्मबल होगा, बुलंद हौंसले होंगे, तो आप बिजनेस में तरक्की कर पाएंगे, देखने का नजरिया भी बदलेगा। ये गिलास में आधा पानी है, किसी को आधा खाली लगता है, किसी को आधा भरा लगता है। बस नजरिये की बात है। खाली लगता है, इसका मतलब विल पावर डाउन है, आधा भरा लगता है, तो आत्मबल ज्यादा है। गिलास आधा भरा नजर आने लग जाएगा, तो कहने का मतलब आत्मबल जब जाग जाएगा तो बिजनेस में फायदा होगा, तो राम-नाम के जाप से बिना किसी फीस दिये, बिना कोई टैक्स चुकाये, आपका आत्मबल जबरदस्त तरीके से बढ़ेगा, तो बिजनेस में जरूर लाभ होगा।
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