- फिर से तैयार की जाएगी स्कीम
- पंजाब के डिपो होल्डरों की हाईकोर्ट में हुई बड़ी जीत, पंजाब सरकार ने दिया हल्फ बयान
- हाईकोर्ट द्वारा पटीशन का किया निपटारा, डिपो होल्डरों को हाईकोर्ट आने की मिली ईजाजत
सच कहूँ/अश्वनी चावला
चंडीगढ़। पंजाब के 40 लाख 68 हजार के लगभग स्मार्ट कार्ड धारकों को आटा निजी कम्पनियों से सप्लाई करने के मामले में पंजाब सरकार (Punjab Government) पीछे हट गई है। जिस कारण अब पंजाब सरकार इस आटे की सप्लाई को लेकर फिर से स्कीम तैयार करेगी और इसमें पंजाब के डिपुओं का खासतौर पर ख्याल रखा जाएगा। पंजाब सरकार के इस फैसले के बाद पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट द्वारा इस मामले में पटीशन का निपटारा कर दिया है और इस मामले में डिपो होल्डरों को छूट दी है कि नई स्कीम में अगर उन्हें कुछ गलत लगे तो फिर से हाईकोर्ट आने का अधिकार रखते हैं। इस फैसले के बाद डिपो होल्डरों को अपनी जीत करार दिया जा रहा है।
जानकारी के अनुसार पंजाब में 40 लाख 68 हजार 453 स्मार्ट कार्ड होल्डर हैं, जिन्हें सरकार द्वारा खाद्य सुरक्षा अधिकार एक्ट के तहत हर महीने 5 किलो गेहूं की सप्लाई दी जाती है। पंजाब में आम आदमी पार्टी की सरकार आने के बाद गेहूं की जगह पर आटे की सप्लाई देने का फैसला किया गया था। जिसके बाद आटे की सप्लाई के लिए बकायदा एक नई स्कीम बनाई गई थी और इसमें आटे की पिसाई से लेकर सप्लाई तक निजी कम्पनियों को शामिल कर लिया गया। इस फैसले को लेकर डिपो होल्डरे नाराज हो गए, क्योंकि पिछले डेढ़ दशक से डिपो होल्डर ही इस स्कीम को चलाते हुए सप्लाई कर रहे हैं
इसके साथ ही स्मार्ट कार्ड होल्डर को कनक की सप्लाई केन्द्रीय स्कीम के तहत ही किया जाता है परंतु केन्द्र सरकार के नियमों को ही इस नई स्कीम में तोड़ा गया है। इस मामले को लेकर डिपो होल्डरों द्वारा पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट का रुख किया गया था। जहां कि पहले हाईकोर्ट द्वारा इस मामले में स्टे आॅर्डर जारी किया गया ताकि अब पंजाब सरकार द्वारा खुद ही हलफ ब्यान दे दिया गया है कि वह स्कीम को फिर से विचार करने के लिए तैयार हैं। पंजाब सरकार के इस हल्फ ब्यान के बाद पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने डिपो होल्डर की पटीशन का निपटारा कर दिया है।
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