गोहाना (सच कहूँ न्यूज)। बीपीएस महिला विश्वविद्यालय के कन्या गुरुकुल माध्यमिक विद्यालय में गेस्ट (अतिथि) शिक्षिका (Guest Teacher) के पद पर कार्यरत सलोचना ने बिना नोटिस हटाने का आरोप लगाया है। पीड़िता सलोचना का कहना कि स्कूल प्राचार्य ने दुर्भावनावश उन्हें नौकरी से हटा दिया है। सलोचना अधिकारियों के कार्यालयों के चक्कर लगाने पर मजबूर हैं। दोबारा से नौकरी दिए जाने की मांग को लेकर सलोचना ने न्यायालय की शरण ली है।
सलोचना का कहना कि 2010 में कन्या गुरुकुल माध्यमिक विद्यालय में गेस्ट शारीरिक शिक्षिकाओं की भर्ती के लिए विज्ञापन निकाला गया था। मेरिट के आधार पर चयन हुआ था। करीब 11 साल तक सेवाएं दीं। सलोचना ने आरोप लगाया कि स्कूल प्राचार्या सुमिता उनसे दुर्भावना रखती थी, जिस कारण उन्हें बिना नोटिस नौकरी से निकाल दिया। प्राचार्य से जवाब मांगा तो उन्होंने कहा कि स्कूल में वर्क लोड नहीं है जबकि 2020-21 शैक्षणिक सत्र के दौरान स्कूल में करीब 1224 बच्चे थे।
1224 बच्चों पर केवल एक ही नियमित शारीरिक शिक्षक है। दूसरी ओर विश्वविद्यालय के अधीन चल रहे कैंपस स्कूल में करीब 500 बच्चों पर दो शारीरिक शिक्षक हैं। सलोचना ने बताया कि दोबारा नौकरी पर रखने की मांग को लेकर विश्वविद्यालय की वीसी के अलावा उच्च अधिकारियों के पास गुहार लगा चुकी हैं, लेकिन उनकी समस्या का समाधान नहीं हो पाया। सलोचना ने अधिकारियों की कार्यवाही से निराश होकर न्यायालय की शरण ली है।
मामला न्यायालय में चल रहा है। सलोचना को वर्कलोड के आधार पर रखा गया था। स्कूल में वर्क लोड है या नहीं हर साल इसकी जांच होती है। जांच के आधार पर शिक्षकों (Guest Teacher) को रखा जाता है। वर्क लोड नहीं होने के चलते शिक्षिका सलोचना हो हटाया गया था। अब उनका मामला न्यायालय में चला हुआ है। हमने न्यायालय में लिखित रूप में अपना पक्ष रख दिया है। वैसे भी यह मामला विश्वविद्यालय स्तर पर है, स्कूल स्तर पर नहीं।
सुमिता सिंह, प्राचार्य, कन्या गुरुकुल माध्यमिक विद्यालय, विवि, खानपुर कलां
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