चंडीगढ़ (सच कहूँ न्यूज)। हरियाणा विधानसभा की बैठक (Haryana Assembly Meeting) मंगलवार को अनिश्चितकाल के लिये स्थगित कर दी गई । विधानसभा की बैठक आज अंतिम दिन आवश्यक कामकाज निपटाने के बाद अनिश्चितकाल के लिये स्थगित कर दी गई। इससे पहले हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा कि ट्रकों की ओवरलोडिंग की समस्या को रोकने के लिए समय-समय पर पुलिस एवं अन्य टीमों द्वारा जांच की जाती है, हालांकि नूहं जिले में यह समस्या ज्यादा है क्योंकि माल ढुलाई एवं खनन का कार्य यहां अधिक है। चालकों और पुलिस के मध्य परस्पर विश्वास होना जरूरी है।
खट्टर ने मंगलवार को विधायक आफताब अहमद द्वारा पिछले एक वर्ष में ट्रक एवं ट्रेक्टरों की ओवरलोडिंग के चालानों के बारे परिवहन मंत्री से पूछे गए एक सवाल के जवाब में स्थिति स्पष्ट कर रहे थे। उन्होंने नूहं जिले के सदन में उपस्थित तीनों विधायकों से आग्रह किया कि वे भी स्थानीय लोगों व ट्रक चालकों को प्रेरित करें कि अगर पुलिस चैकिंग के लिए उन्हें रोकती है तो उन्हें रुकना चाहिए। गाड़ी न रोकने पर चालकों द्वारा भाग जाना कई तरह की शंकाएं पैदा करता है।
पुलिस से घबराने की आवश्यकता नहीं
मुख्यमंत्री ने चालकों से आग्रह किया कि उन्हें पुलिस से घबराने की आवश्यकता नहीं है, यदि पुलिस उन्हें रोकती है तो उन्हें रूकना चाहिए। यदि उनका चालान बनता है तो उनका चालान होगा, यदि उनकी गलती नहीं होगी तो चालान नहीं कटेगा। पुलिस को भी हालांकि ठीक व्यवहार चाहिए और आगे से मानवता के नाते पुलिस भी किसी से कोई ज्यादती नहीं करेगी।
खेल एवं युवा कार्यक्रम राज्य मंत्री सरदार संदीप सिंह ने कहा कि हालांकि पुन्हाना से 10-12 किलोमीटर दूर पिनगवां में खेल स्टेडियम है और सभी खेल स्टेडियमों की जियो-मैपिंग की जा रही है। फिर भी यदि पुन्हाना में वहां के खेल की रूचि के अनुरूप आवश्यक हुआ तो खेल स्टेडियम का निर्माण करवाया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि बल्लभगढ़ कल्पना चावला सिटी पार्क की भूमि का मालिकाना हक आज भी फरीदाबाद नगर निगम के पास ही है। इस भूमि पर विकसित पार्क का उपयोग आम जनता द्वारा किया जा रहा है। विवादित भूमि का मामला हालांकि न्यायालय में विचाराधीन है।
विवादित भूमि से संबंधित मामलो पर सीएम ने दिया जवाब
खट्टर आज विधायक नीरज शर्मा, शमशेर सिंह गोगी और मम्मन खान द्वारा बल्लभगढ़ कल्पना चावला सिटी पार्क पर अवैध कब्जे एवं फरीदाबाद को उत्तरप्रदेश के जेवर में बन रहे अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट से जोड़ने वाले हाईवे के बारे में लाए गए अल्प अवधि चर्चा के दौरान जवाब दे रहे थे । उन्होंने कहा कि विवादित भूमि से संबंधित जो भी मामले चल रहे हैं वह आज के नहीं है, काफी पुराने हैं।
यह मामले उच्चतम न्यायालय तक भी गए। शीर्ष न्यायालय ने निर्णय दिया था कि इस जमीन पर बने पार्क को खाली करें। विपक्ष पर तंज कसते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि विपक्ष के लोग यह बताएं कि आज तक इस पार्क को खाली क्यों नहीं किया गया। क्या विपक्ष के साथी फरीदाबाद नगर निगम (Haryana Assembly Meeting) के साथ हैं या कब्जाधारी व्यक्तियों के साथ हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि एक जमीन पर कब्जे से संबंधित मामले 1980 से लगातार चल रहे हैं और इन मुकदमों की फरीदाबाद नगर निगम और सरकार द्वारा निरंतर मजबूती से पैरवी की जा रही है।
उन्होंने कहा कि आज भी इस विवादित जमीन के मालिकाना हक से संबंधित मामला न्यायालय में विचाराधीन है, फिर भी विपक्ष के लोग बेवजह बयानबाजी कर रहे हैं। वह यह साफ करें कि उनका रुख निगम के तरफ है या वे निजी व्यक्तियों के साथ हैं।
सरकार सभी कानूनी उपायों को अपनाना सुनिश्चित करेगी
उन्होंने कहा कि नगर निगम, फरीदाबाद ने लगभग 30 साल पहले इस पार्क को 10.46 एकड़ की पूरी भूमि पर विकसित किया था, जिसमें 1.04 एकड़ लिटिगेशन वाली भूमि भी शामिल है, जिसका अर्थ है कि पार्क पूरी भूमि पर मौजूद है। इस भूमि पर पार्क नगर निगम, फरीदाबाद द्वारा व्यापक जनहित में विकसित किया गया है, इसलिए पार्क के विकास के लिए खर्च करने के लिए किसी भी अधिकारी/कर्मचारियों को जिम्मेदार ठहराना उचित नहीं है।
नगर निगम, फरीदाबाद के कर्मचारियों द्वारा निजी व्यक्तियों के साथ मिलीभगत करके लिटिगेशन वाली सिटी पार्क की भूमि को राजस्व रिकार्ड में अवैध प्रविष्टि करने से निजी व्यक्तियों को इस भूमि पर अपना कब्जा / मालिकाना हक दायर करने में मदद मिली। अत: मामला लिटिगेशन में है और नगर निगम , फरीदाबाद केस को आरम्भ से ही सर्वोच्च न्यायालय तथा विभिन्न न्यायालयों में नियमित तौर पर पैरवी कर रहा है । इसके अतिरिक्त लिटिगेशन वाली भूमि अभी तक नगर निगम , फरीदाबाद के कब्जे में है और इस भूमि पर विकसित पार्क का जनसाधारण द्वारा प्रयोग किया जा रहा है । सरकार सभी कानूनी उपायों को अपनाना सुनिश्चित करेगी ।
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