गुड़गांव (संजय कुमार मेहरा)। मिलेनियम सिटी गुरुग्राम में वैसे तो बदमाशों से हथियारों का जखीरा कई बार बरामद हो चुका है, लेकिन पहली बार यहां एक घर से हैंड ग्रेनेट मिले हैं। इससे पुलिस के भी हाथ पांव फूल गए और आसपास रहने वाले लोगों में भी दहशत फैल गई। सूचना मिलने के साथ ही एसीपी सदर भारी पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे। गुरुग्राम पुलिस इस बारे में जांच में जुटी है कि आखिर यहां घर में हैंड ग्रेनेड कैसे पहुंचे। क्या साजिश होगी।
जानकारी के अनुसार गुरुग्राम पुलिस को मंगलवार को गुप्त जानकारी मिली कि सेक्टर-31 स्थित एक घर में बम और अन्य खतरनाक हथियार रखे हुए हैं। पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए बताए गए ठिकाने पर पहुंचकर क्षेत्र में सुरक्षा घेरा बना डाला। ऐहतियात बरतते हुए राष्ट्रीय सुरक्षा गार्द (एनएसजी) मानेसर को भी सूचना दी गई। एनसीजी से बम निरोधक टीम सेक्टर-31 पहुंची। पुलिस ने क्षेत्र में लोगों को उस घर के आसपास नहीं आने दिया। बम और अन्य घातक हथियार मिलने से क्षेत्र में अफरा-तफरी भी मच गई।
सुरक्षा की पूरी तैयारी के साथ पुलिस और एनएसजी कमांडो ने घर का ताला तोड़कर अंदर प्रवेश किया। घर के चप्पे-चप्पे की तलाशी लेनी शुरू की। इस दौरान घर के शौचालय में टीम को हैंड ग्रेनेड बरामद हुए। पुलिस भी यह देखकर दंग रह गई कि आखिर यहां पर हैंड ग्रेनेट किसने और क्यों रखे। हैंड ग्रेनेट जिंदा थे यानी उनसे विस्फोट हो सकता था, इसलिए उन्हें डिफ्यूज करने की कार्रवाई शुरू की गई। क्षेत्र की पार्क में गहरा गड्ढा खोदकर उन्हें डिफ्यूज करने की तैयारी की गई। इससे पूर्व आसपास की सड़कों से भी आवागमन बंद कर दिया गया। पुलिस अभी तक इस मामले से अनभिज्ञ है कि आखिर यहां पर इस तरह के खतरनाक हथियार रखने का क्या औचित्य हो सकता है। क्यों यहां पर हथियार जमा किए गए। बताया जा रहा है कि घर का मालिक दिल्ली के पंजाबी बाग निवासी रविंद्र अग्रवाल है।
घर में 2 जिंदा हैंड ग्रेनेड और बमों के मिलने के मामले में डीसीपी राजीव देसवाल का कहना है कि फिलहाल इस बारे में कुछ कहना जल्दबाजी होगी। जांच की जा रही है कि आखिरकार इस मकान में हैंड ग्रेनेट कैसे रखे गए। यह घर काफी समय से बंद पड़ा है।
जिले की सीमाओं, नाकों पर चौकस हुई पुलिस
घर में हैंड ग्रेनेड मिलने के साथ ही गुरुग्राम जिला पुलिस चौकस हो गई। जिला के सभी नाकों, सीमाओं पर पुलिस ने लोगों को रुकवाकर वाहनों की तलाशी लेनी भी शुरू कर दी। पुलिस ने संदिगध वाहनों को भी रुकवाकर तलाशी ली। हालांकि समाचार लिखे जाने तक पुलिस इस बात का पता नहीं लगा पाई थी कि इस घर में हैंड ग्रेनेट कहां से और किसके द्वारा पहुंचाए गए।
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