सच कहूँ/सुनील वर्मा, सरसा। जिला के सात राजकीय मॉडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूलों में अध्ययनरत और गणित, अंग्रेजी विषयों और कंप्यूटरों में गहरी रुचि रखने वाले विद्यार्थियों के लिए अच्छी खबर है। क्योंकि अब इन स्कूलों में विद्यार्थियों को कोडिंग व रोबोटिक्स करना सिखाया जाएगा। ताकि विद्यार्थी अंकगणितीय बौद्धिक विकास के साथ ही गेम, एप्लीकेशन आदि खुद बना पाए। विद्यार्थी डिजिटल के दौर में बौद्धिक क्षमता बढ़ाने के लिए कंप्यूटर की दुनिया में आगे बढ़ेंगे। हरियाणा स्कूल शिक्षा परियोजना परिषद ने स्कूलों में कक्षा छठी से बारहवीं कक्षा के विद्यार्थियों को कोडिंग व रोबोटिक्स सिखाने का फैसला लिया है। इससे पहले स्कूलों के शिक्षकों को गुरुग्राम में विशेष प्रशिक्षण दिया गया है।
30-30 विद्यार्थियों के बनाए जाएंगे ग्रुप
राजकीय माडल संस्कृति स्कूलों में कोडिंग व रोबोटिक्स सीखने के लिए 30-30 विद्यार्थियों के ग्रुप बनाए जाएंगे। इसके बाद प्रतिदिन एक से दो घंटे तक कोडिंग का कोर्स करवाया जाएगा। जिसका कंटेंट आनलाइन टीचर को दिया जाएग। कोडिंग को सरल भाषा में कंप्यूटर की भाषा भी कह सकते हैं। जो कुछ कंप्यूटर पर करते हैं। वह कोडिंग के माध्यम से होता है। कोडिंग का इस्तेमाल कर वेबसाइट, गेम या फिर एप तैयार कर सकते हैं। इससे विद्यार्थियों को तकनीक के बारे में भी महत्वपूर्ण जानकारी भी मिलती रहेगी।
जिले में यहां है राजकीय माडल संस्कृति स्कूल
- राजकीय माडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूल, अनाज मंडी, सरसा
- राजकीय माडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूल, नाथूसरी चौपटा
- राजकीय माडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूल, बप्पा
- राजकीय माडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूल, डबवाली
- राजकीय माडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूल, ऐलनाबाद
- राजकीय माडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूल, कालांवाली
- राजकीय माडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूल, रानिया
‘‘राजकीय माडल संस्कृति स्कूलों में छठी से बारहवीं कक्षा के विद्यार्थियों को कोडिंग व रोबोटिक्स करना सिखाया जाएगा। यह गणित, अंग्रेजी व कंप्यूटर विषयों में रुचि रखने वाले विद्यार्थी को कोर्स करवाया जाएगा। इसके लिए स्कूलों के एक एक अध्यापकों को विशेष प्रशिक्षण दिया गया है।
शशि सचदेवा, सहायक परियोजना अधिकारी, समग्र शिक्षा अभियान, सरसा।
अन्य अपडेट हासिल करने के लिए हमें Facebook और Twitter, Instagram, LinkedIn , YouTube पर फॉलो करें।