डबवाली, राजमीत सिंह | तीन कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का दिल्ली की सीमाओं पर आंदोलन जारी है। इस आंदोलन को खत्म करने के लिए कई दौर की वार्ता किसानों और सरकार के बीच हो चुकी है, लेकिन अभी तक इसका कोई समाधान नहीं हो पाया है। इस बीच अब तीन कृषि कानूनों को लेकर आंदोलन कर रहे अन्नदाताओं की मांगो का बातचीत से हल निकालने और किसान संगठनों के साथ वार्ता को फिर से शुरू करने के लिए हरियाणा के उप-मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा है।
किसानों से 3-4 वरिष्ठ मंत्रियों की कमेटी बनाकर दोबारा बातचीत शुरू की जाए
जिसका आमजन , किसानों व जेजेपी कार्येकर्ताओ ने स्वागत किया है। इस सम्बंध में जेजेपी प्रवक्ता रणदीप मटदादू ने कहा कि उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला स्वयं एक किसान है व किसानों के सच्चे हितैषी भी है जो किसानों के दुख दर्द को भली भांति जानते है। किसानों के सच्चे हितेषी होने के नाते उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस बारे पत्र लिख समाधान की मांग की है। मटदादू ने कहा कि उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने पत्र में लिखा है कि आंदोलनकारी किसानों से 3-4 वरिष्ठ मंत्रियों की कमेटी बनाकर दोबारा बातचीत शुरू की जाए।
- किसान आंदोलन का लंबा चलना चिंता का विषय है।
- बातचीत से हर समस्या का हल संभव है।
- आंदोलनकारी किसानों से केंद्र सरकार दोबारा बातचीत शुरू करे।
- केन्द्र सरकार और आंदोलनकारी किसान यूनियनों के बीच 22 जनवरी को हुई औपचारिक वार्ता के 11वें और अंतिम चरण के बाद भी इस मुद्दे का कोई समाधान नहीं निकल सका था।
कृषि कानूनों पर चल रहे गतिरोध को लेकर एक “सौहार्दपूर्ण निष्कर्ष” पर पहुंचने का किया आग्रह
मटदादू ने कहा कि इसी बीच हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर दिल्ली की सीमाओं पर विरोध कर रहे किसानों के साथ बातचीत फिर से शुरू करने और कृषि कानूनों पर चल रहे गतिरोध को लेकर एक “सौहार्दपूर्ण निष्कर्ष” पर पहुंचने का आग्रह किया है। उन्होंने बताया कि विगत 15 अप्रैल को लिखे पत्र में चौटाला ने पीएम मोदी से अपील की कि आंदोलनकारी किसानों के साथ बातचीत फिर से शुरू करने के लिए तीन से चार वरिष्ठ कैबिनेट मंत्रियों की एक समिति का गठन किया जाए।
अधिक लम्बे समय तक चल रहा है आंदोलन
दुष्यंत चौटाला ने कहा की ‘हर समस्या का आपसी चर्चा से समाधान होता है.’ चौटाला ने कहा, ‘हमारे अन्नादत्त दिल्ली की सीमा पर सड़कों पर हैं, केंद्र सरकार के नए लागू किए गए तीन कृषि कानूनों के संबंध में आंदोलन कर रहे हैं. यह चिंता की बात है कि आंदोलन काफी अधिक लम्बे समय तक चल रहा है और इस मुद्दे का कोई समाधान नही निकल रहा है।
- इस समस्या के समाधान की मांग की है।
- उपमुख्यमंत्री द्वारा प्रधानमंत्री को लिखे गए पत्र का किसान नेता नरेश टिकैत ने भी स्वागत करते हुए इसे एक अच्छी पहल बताया है।
- रणदीप सिंह मट्टदादू ने उम्मीद और भरोसा जताया कि प्रधानमंत्री को लिखे पत्र का जल्द असर दिखेगा।
- सरकार और किसानों की 12वें दौर की वार्ता जल्द शुरू होगी और समस्या का हल व समाधान निकलेगा।
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