370 एफआईआर दर्ज, 351 लोग गिरफ्तार
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1.04 करोड़ रुपए की राशि अब तक जब्त
चंडीगढ (अनिल कक्कड़)। हरियाणा के गृहमंत्री अनिल विज ने कहा कि कबूतरबाजी और धोखाधड़ी से विदेश में भेजने वाले लोगों के खिलाफ 370 एफआईआर दर्ज की गई है। इसके तहत आरोपियों की धरपकड़ करते हुए पुलिस ने 351 लोगों को गिरफ्तार किया है तथा उनके कब्जे से 1.04 करोड़ रुपए की नकदी बरामद की है। विज ने कहा कि हरियाणा की धरती से कबूतरबाजी जैसे गोरखधंधे को पूरी तरह से समाप्त करने के लिए राज्य स्तर पर ऐसे मामलों को निगरानी एवं जांच करने के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया है। इस दल में एक पुलिस महानिरीक्षक की अध्यक्षता में 6 एसपी स्तर के अधिकारियों को शामिल किया गया है।
हरियाणा के कुल 421 नागरिक शामिल हैं
यह टीम पूरे प्रदेश के युवाओं को धोखाधड़ी से लाखों रुपये ऐंठकर गैरकानूनी तरीके से विदेशों में भेजने वाले कबूतरबाजों की जांच कर रही है। कबूतरबाज विश्व के अनेक देशों में लोगों को नाजायज तौर पर भेजने का काम रहे थे। इनमें अमेरिका, मलेशिया, मैक्सिको, दुबई इत्यादि देश शामिल हैं। उन देशों की सरकार द्वारा वापिस भारत भेजे गए लोगों में हरियाणा के कुल 421 नागरिक शामिल हैं। गृहमंत्री ने बताया कि इस संबंध में टीम को सख्त एवं त्वरित कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हंै। इसके फलस्वरूप पुलिस ने प्रदेश के विभिन्न जिलों में छापेमारी की है।
इसके तहत विशेष अनुसंधान टीम को पिछले चार महीनों के दौरान 646 शिकायतें प्राप्त हुई है, जिनमें से 370 शिकायतों पर मुकदमें दर्ज किऐ गए और 276 शिकायतें जांच के लिए सम्बन्धित जिलों में भेजी जा चुकी है। इस टीम के द्वारा वर्ष 2018 व 2019 में दर्ज हुए 51 मुकदमों और वर्ष 2020 के 370 मुकादमों की जांच करके कुल 351 आरोपियों को गिरफ्तार करने कीबडी सफलता प्राप्त की है। यह पिछले 12 वर्षों में 24 इमीग्रेशन अधिनियम के तहत गिरफ्तार कुल अभियुक्तों से 94 प्रतिशत अधिक है। विज ने बताया कि करनाल जिले में सबसे अधिक 175 एफआईआर हुई हैं। इसी प्रकार कुरूक्षेत्र में 80, कैथल में 51, अम्बाला में 44 तथा भिवानी, दादरी, सिरसा, नारनौल तथा भिवानी में सबसे कम एफआईआर दर्ज हुई है। इनके अलावा अन्य जिलों में इस प्रकार के मामले दर्ज किए गए हैं।
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